मस्जिद कमेटी के वकील ने सुप्रीम कोर्ट में मामले का जिक्र करते हुए कहा कि एएसआई को सर्वे की इजाजत न दी जाए।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि ज्ञानवापी को मस्जिद (Gyanvapi Masjid) कहेंगे तो विवाद होगा। त्रिशूल मस्जिद के अंदर क्या कर रहा है। हमने तो नहीं रखा। मुस्लिम समुदाय को आगे आकर प्रस्ताव रखना चाहिए कि ऐतिहासिक गलती हुई है।
ज्ञानवापी मस्जिद के वैज्ञानिक सर्वे के लिए बनारस के एक कोर्ट ने आदेश दिया था। हालांकि, मुस्लिम पक्ष की अपील पर सुप्रीम कोर्ट ने राहत देते हुए इलाहाबाद हाईकोर्ट जाने की सलाह दी थी।
ASI (Archaeological Survey of India) के वैज्ञानिकों द्वारा किए जा रहे ज्ञानवापी मस्जिद के वैज्ञानिक सर्वे पर सुप्रीम कोर्ट ने दो दिनों के लिए रोक लगा दी है। कोर्ट ने मुस्लिम पक्ष से कहा है कि वे हाईकोर्ट जाएं।
वाराणसी के ज्ञानवापी मंदिर परिसर में वजूखाने के सील इलाके को छोड़कर कल से एएसआई टीम सर्वे शुरू करेगाी। यह सर्वे कैसे होगा और किस टेक्नोलॉजी का इसमें प्रयोग होगा पढ़ें पूरी खबर में।
ज्ञानवापी परिसर के वैज्ञानिक सर्वेक्षण का आदेश बनारस कोर्ट ने दिया था। हालांकि, कोर्ट ने वजू स्थल व अन्य सील किए गए एरिया का सर्वे करने की अनुमति नहीं दी है।
21 जुलाई 2023 को वाराणसी जिला कोर्ट ने हिंदू पक्ष की याचिका पर फैसला सुनाते हुए ज्ञानवापी परिसर में भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण को मंजूरी दे दी है। अब परिसर में रेडियो कार्बन डेटिंग की जा सकेगी।
साल 1991 में पहली बार हरिहर पांडे, सोमनाथ व्यास और रामरंग शर्मा ने अदालत में याचिका दायर की। जिसमें कहा गया कि मंदिर तोड़ने के बाद वहां के अवशेषों से ही ज्ञानवापी मस्जिद का निर्माण करवाया गया था।
हिंदू पक्ष द्वारा दायर याचिका में पूरे ज्ञानवापी मस्जिद परिसर का सर्वेक्षण करने के लिए भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) को निर्देश देने की मांग की गई थी।
Gyanvapi Case: ज्ञानवापी मामले में दायर याचिका पर सुनवाई 11 जुलाई को सुप्रीम कोर्ट में जाएगी। अंजुमन इंतेजामिया की याचिका में वजू के लिए अलग व्यवस्था की मांग की गई है।