सार
ज्योतिष में, चंद्रमा को सभी ग्रहों में सबसे तेज़ गति वाला ग्रह माना जाता है, क्योंकि चंद्रमा हर ढाई दिन में अपनी राशि बदलता है, ऐसे में यह कुछ ग्रहों के साथ युति बनाता है। इस क्रम में योग-राजयोग बनते हैं, १६ नवंबर को चंद्रमा वृषभ राशि में प्रवेश करेगा और १८ नवंबर तक इसी राशि में रहेगा। देवगुरु बृहस्पति पहले से ही वृषभ राशि में विराजमान हैं, ऐसे में चंद्र-गुरु की युति से गजकेसरी योग का पुनः निर्माण होगा, जो ४ राशियों के लिए बहुत भाग्यशाली साबित होगा।
वृषभ राशि वालों के लिए चंद्र और गुरु की युति से बना गजकेसरी योग भाग्यशाली साबित होगा। व्यापारियों के लिए समय अनुकूल रहेगा। व्यापार में उन्नति के नए अवसर मिलेंगे। समाज में मान-सम्मान बढ़ेगा। आर्थिक स्थिति मजबूत होगी। करियर में नए अवसर प्राप्त हो सकते हैं। हर क्षेत्र में सफलता मिलेगी, बड़ा आर्थिक लाभ हो सकता है। वाहन, संपत्ति खरीदने का सपना पूरा हो सकता है। लंबे समय से रुके हुए काम फिर से शुरू हो सकते हैं।
कर्क राशि वालों के लिए चंद्र और गुरु की युति से बना गजकेसरी योग किसी वरदान से कम नहीं साबित होगा। व्यापारियों को नए व्यापार मिल सकते हैं या कार्यक्षेत्र में उन्नति की संभावनाएं हैं। करियर के लिए समय अनुकूल रहेगा। नया काम शुरू करने के लिए समय शुभ रहेगा। करियर में आगे बढ़ने के मौके मिलेंगे। मेहनत का पूरा फल मिलेगा।
धनु राशि वालों के लिए गजकेसरी योग बहुत भाग्यशाली साबित होगा। आय में वृद्धि होगी और आर्थिक स्थिति मजबूत होगी। नौकरीपेशा लोगों को पदोन्नति का लाभ मिल सकता है। लंबे समय से रुके हुए काम पूरे होंगे। प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे छात्रों को मेहनत का पूरा फल मिलेगा। परिवार के साथ अच्छा समय व्यतीत करेंगे।
मीन राशि वालों के लिए चंद्र-गुरु की युति अनुकूल रहेगी। भविष्य में अच्छा धन लाभ हो सकता है। आर्थिक स्थिति भी मजबूत होगी, व्यापार में उन्नति मिलेगी। मान-सम्मान बढ़ेगा। समाज सेवा में रुचि बढ़ेगी। कोई शुभ समाचार मिल सकता है। पारिवारिक जीवन की समस्याएं दूर होंगी और रिश्ते मजबूत होंगे। धार्मिक कार्यों में रुचि बढ़ेगी। निवेश के लिए समय अनुकूल है।