सार

बसंतपुर की नेहा की शादी बीते 24 जून को इसुआपुर गांव के रहने वाले त्रिलोकी कुमार से हुई थी। शादी के 6 दिनों के बाद ही अचानक से नेहा अपने ससुराल से गायब हो गई। 19 दिनों के बाद भी दुल्हन का कोई अता-पता नहीं लग पाया था। नेहा के भाई ने ससुराल वालों पर बहन की हत्या का आरोप लगाया था।
 

पटना : बिहार (Bihar) के सारण (Saran) जिले में जिस बहू की हत्या के मामले में ससुराल वाले कोर्ट के चक्कर लगा रहे थे, वह 6 महीने बाद जिंदा लौट आई। मामला इसुआपुर थाना क्षेत्र का है। यहां एक विवाहिता के हत्या मामले में उस वक्त नया मोड़ आ गया जब वह जिंदा मिली। गांव के त्रिलोकी कुमार की पत्नी नेहा की हत्या का मामला 30 जून को दर्ज कराया गया था। नेहा के भाई ने अंकित कुमार ने थाने में शिकायत दर्ज कराई थी। अपनी शिकायत में उसने आरोप लगाया था कि बहन के ससुराल वालों ने उसकी हत्या कर लाश को ठिकाने लगा दिया है।
पुलिस मामले की जांच कर रही थी कि इस बीच एक जुलाई को कोपा के पास एक अज्ञात शव की शिनाख्त मायके वालों ने नेहा के रुप में कर दी, जिसके बाद नेहा के पति और ससुराल वालों की मुश्किलें बढ़ गई। वे कोर्ट के चक्कर लगाने को मजबूर हो गए।

शादी के 6 दिन बाद गायब हुई थी दुल्हन
बसंतपुर की नेहा की शादी बीते 24 जून को इसुआपुर गांव के रहने वाले त्रिलोकी कुमार से हुई थी। शादी के 6 दिनों के बाद ही अचानक से नेहा अपने ससुराल से गायब हो गई। 19 दिनों के बाद भी दुल्हन का कोई अता-पता नहीं लग पाया था। ससुराल पक्ष के लोग बुरी तरह परेशान हो गए थे। मायके पक्ष के लोगों को लग रहा था कि कहीं उनकी बेटी नेहा के साथ कोई अनहोनी हो गई है। इस बीच कोपा के पास एक अज्ञात शव की शिनाख्त मायके वालों ने नेहा के रुप में कर दी, जिसके बाद नेहा के पति और ससुराल वालों की मुश्किलें बढ़ गई थी।

ससुराल वालों ने पढ़ाई से रोका तो चली गई
एक जुलाई को पुलिस को नेहा के मोबाइल का लोकेशन दिल्ली (Delhi) मिला। 2 जुलाई को नेहा की ओर से लिखा हुआ बाई पोस्ट पत्र बसंतपुर पुलिस को मिला। इसमें नेहा उर्फ दिव्या ने यह लिखा था कि उसे यह कह कर शादी कराई गई थी कि वह ससुराल में जाकर आगे की पढ़ाई जारी रख सकती है। उसे अपने करियर बनाने में कोई रोकटोक नहीं किया जाएगा। लेकिन शादी के बाद ससुराल आने पर नेहा के ससुराल वाले उसकी पढ़ाई के लिए राजी नहीं हुए। ऐसे में उसे यह कदम उठाना पड़ा। उसने पत्र में यह भी लिखा है कि उसके मायके या ससुराल वालों के माध्यम से गुमशुदगी या अन्य किसी प्रकार के आरोप से संबंधित आवेदन थाने में दिए जाए तो उसे सही नहीं माना जाए। वह जहां भी है पूरी तरह से सुरक्षित है। लेकिन ये पत्र मिलने के बावजूद पुलिस इसे पुख्ता नहीं मान रही है कि नेहा ने ही ये पत्र लिखकर भेजा है।

दिल्ली में जिंदा मिली  
मायके वालों की शिकायत के आधार पर मामले की लगातार जांच कर रही पुलिस ने जब दिल्ली का रुख किया। दिल्ली में मोबाइल लोकेशन और अन्य माध्यमों से पुलिस को नेहा सकुशल मिली। 6 महीने बाद नेहा के जिंदा मिलने से ससुराल वालों को राहत मिली है। बहू की हत्या के आरोप में वे कोर्ट के चक्कर लगा रहे थे। वहीं पुलिस ने छपरा कोर्ट में मजिस्ट्रेट के सामने नेहा का बयान भी दर्ज कराया है। 

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