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खुद ट्रैक्टर चलाकर हरियाणा पहुंचे राहुल, तस्वीरों में देखिए दादा-पोते का इस्तीफा मांगने उमड़ी भीड़
अंबााल (हरियाणा). पिछले तीन से से राहुल गांधी (Rahul Gandhi) पंजाब में ''किसान बचाओ-खेती बचाओ'' यात्रा कर रहे हैं। जहां उनके साथ प्रदेश के मुख्यमंत्री से लेकर कांग्रेस के सभी बड़े नेता साथ में हैं। अपनी यात्रा के आखिरी दिन राहुल ने हरियाणा की और खुद खुद ट्रैक्टर चलाकर कूच किया। लेकिन जैसे ही उनकी रैली सीमा पार करने ही वाली थी कि पुलिस ने उन्हें बॉर्डर पर रोक दिया। क्योंकि 100 से ज्यादा कार्यकर्ताओं को जाने की परमिशन नहीं थी। हालांकि फिर वह 100 लोगों के साथ हरियाणा में प्रवेश कर गए। पुलिस ने कहा कि कुमारी शैलजा ने करनाल और कुरुक्षेत्र के डीएम से यात्रा की इजाजत ली है, रैली की नहीं।
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अभी तक आपने राहुल गांधी को कार चलाते तो देखा होगा। लेकिन ये पहला मौका है जब राहुल गांधी ने ट्रैक्टर चलाते दिखे हैं। हरियाणा पहुंचे ही राहुल ने एक सभा को संबोधित किया। जहां उन्होने केद्र सरकार पर जमकर निशाना साधा, कहा कि नए कृषि क़ानून किसानों को बर्बाद कर देंगे। साथ उन्होंने ये भी वादा किया है कि कांग्रेस की सरकार आते ही इन कानूनों को ख़त्म कर दिया जायेगा।
बता दें कि राहुल गांधी की 'किसान बचाओ-खेती बचाओ'' ट्रैक्टर रैली पटियाला से निकली थी और हरियाणा के कुरुक्षेत्र में खत्म होगी।
वहीं हरियाणा किसानों ने हिसार में डिप्टी सीएम और बिजली मंत्री के घर का घेराव करने पहुंचे। जहां उन्होंने जमकर सरकार के खिलाफ नारेबाजी की और बैरिकेड्स तोड़ने का प्रयास किया।
सिरसा में मंगलवार को भारी संख्या में किसान यहां के दशहरा ग्राउंड पहुंचे थे। जहां उन्होंने खट्टर सरकार को समर्थन दे रहे जजपा के डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला से इस्तीफे की मांग की। वहीं उनके दादा बिजली मंत्री रणजीत सिंह के इस्तीफे के खिलाफ भी नारेबाजी की।
सिरसा में दादा पोते के इस्तीफे की मांग करते हुए किसानों ने अपने हाथों में पोस्टर थामे हुए थे। खट्टर सरकार को समर्थन देने पर विरोध किया।
हरियाणा सीमा पर पंजाब के किसानों को रोकने के लिए करीब दो हजार पुलिसकर्मी तैनात किए गए हैं।
हाथों में पोस्टर लेकर कृषि बिलों का विरोध कर रहे किसानों के साथ मंच पर किसान नेता भी मौजूद रहे। सामाजिक कार्यकर्ता योगेंद्र यादव भी किसानों के साथ धरने में शामिल हुए।
इस अंदाज में कृषि विधेयकों का विरोध करते दिखे पंजाब हरियाणा के किसान