सार

Which Roti Healthier?: रिसर्च से पता चला है कि सत्तू और ज्वार की रोटियां गेहूं की रोटियों से ज़्यादा हेल्दी हो सकती हैं, क्योंकि इनमें प्रोटीन अधिक और पोषण वैल्यू ज़्यादा होती है। जानें कैसे?

फूड डेस्क : साबुत गेहूं की रोटियां रिफाइंड आटे से बनी रोटियों की तुलना में ज्यादा सेहतमंद विकल्प मानी जाती हैं। हालांकि हाल ही में हुई रिसर्च से पता चला है कि सत्तू और ज्वार की रोटियां ज्यादा हेल्दी हो सकती हैं। ये ऑप्शन आज इसलिए पहचाने जा रहे हैं क्योंकि इनमें प्रोटीन भरपूर मात्रा में होता है और साबुत गेहूं की रोटियों की तुलना में इनमें ज्यादा पोषण वैल्यू होती है। इसीलिए ये ऑप्शन ज्यादा सेहतमंद रहते हैं, खास तौर पर उन लोगों के लिए जो अपने प्रोटीन सेवन को बढ़ाना चाहते हैं या ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित करना चाहते हैं। लेकिन क्या ये वाकई सेहतमंद हैं?

सत्तू का आटा

भुने हुए चने से बना आटा सत्तू सदियों से भारत के कई हिस्सों में डाइट का मुख्य हिस्सा रहा है। शाकाहारियों या प्रोटीन का सेवन बढ़ाने की चाहत रखने वालों के लिए, सत्तू की रोटियां आवश्यक अमीनो एसिड का एक बेस्ट सोर्स प्रदान करती हैं। एक रिसर्च से पता चलता है कि सत्तू का ग्लाइसेमिक इंडेक्स कम होता है, जो ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित करने के लिए महत्वपूर्ण है। सत्तू में भरपूर मात्रा में फाइबर होता है, जो पाचन में मदद करता है और पेट भरा होने का एहसास कराता है। सत्तू आयरन, मैग्नीशियम और कैल्शियम का एक अच्छा सोर्स है, जो हड्डियों के स्वास्थ्य को बनाए रखने और कमियों को रोकने के लिए आवश्यक मिनरल है।

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ज्वार की रोटियां 

ज्वार या सोरघम एक और प्राचीन अनाज है जो ग्लूटेन-फ्री है और सीलिएक रोग या ग्लूटेन संवेदनशीलता वाले लोगों के लिए बेस्ट है। जर्नल ऑफ़ द अमेरिकन डायटेटिक एसोसिएशन की एक रिसर्च के अनुसार, ज्वार एंटीऑक्सीडेंट, विशेष रूप से पॉलीफेनोल से भरपूर होता है, जो सूजन को कम करने, हार्ट रोग और कैंसर जैसी पुरानी बीमारियों के जोखिम को कम करने से जुड़ा हुआ है। ज्वार में फाइबर की मात्रा अधिक होती है, जो साबुत गेहूँ से कहीं ज्दादा होती है। यह अतिरिक्त फाइबर न केवल पाचन हेल्थ का समर्थन करता है बल्कि ब्लड शुगर लेवल को बनाए रखने में भी मदद करता है, जिससे ज्वार की रोटियां वेट लॉस के लिए फायदेमंद होती हैं। 

ज्वार में साबुत गेहूं की तुलना में फास्फोरस, पोटेशियम और मैग्नीशियम जैसे मिनरल का स्तर भी अधिक होता है। ये मिनरल हड्डियों के स्वास्थ्य, मांसपेशियों के कार्य और एंजाइम एक्टिविटी को बनाए रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं, जिससे ज्वार की रोटियां पूरी हेल्थ के लिए बेस्ट ऑप्शन बन जाती हैं।

सत्तू और ज्वार की रोटियों में पोषण वैल्यू

सत्तू और ज्वार की रोटियों में साबुत गेहूं की रोटियों की तुलना में कम कैलोरी डेनसिटीज होती है। यह उन्हें उन लोगों के लिए बेस्ट बनाती है जो अपना वजन नियंत्रित करना चाहते हैं, क्योंकि वे कम कैलोरी का सेवन चाहते हैं। साबुत गेहूं की तुलना में सत्तू और ज्वार में फाइटिक एसिड का स्तर कम होता है। फाइटिक एसिड आयरन और जिंक जैसे खनिजों के अवशोषण को रोक सकता है, लेकिन सत्तू और ज्वार की रोटियों में कम फाइटिक एसिड बेहतर मिनरल अवशोषण की अनुमति देता है, जिससे समग्र पोषक तत्व का सेवन बढ़ जाता है। जबकि सत्तू और ज्वार की रोटियां कई हेल्थ बेनेफिट्स देती हैं।

बैलेंस डाइट में साबुत गेहूं की रोटियां भी अपना स्थान रखती हैं। प्रत्येक प्रकार की रोटी अपने पोषक तत्वों का एक सेट लाती है। सत्तू और ज्वार की रोटियां साबुत गेहूं की रोटियों की तुलना में स्वास्थ्यवर्धक विकल्प हैं, क्योंकि उनमें प्रोटीन और फाइबर की मात्रा अधिक होती है, ग्लाइसेमिक इंडेक्स कम होता है। इनसे आवश्यक मिनरल और एंटीऑक्सीडेंट की भरपूर पूर्ति होती है।

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