सार

बीजेपी के सीनियर लीडर लालकृष्ण आडवाणी के पूर्व करीबी सुधींद्र कुलकर्णी के एक लेख ने बवाल मचा दिया है। उन्होंने लिखा कि संविधान की प्रस्तावना तैयार करने में अंबेडकर से ज्यादा नेहरू का योगदान था।

 

Sudheendra Kulkarni. बीजेपी नेता लालकृष्ण आडवाणी के करीबी रहे सुधींद्र कुलकर्णी के एक लेख ने नई बहस छेड़ दी है। कुलकर्णी ने लिखा कि संविधान की प्रस्तावना तैयार करने में भीमराव अंबेडकर से ज्यादा जवाहर लाल नेहरू का योगदान था। न्यूज पेपर में प्रकाशित इस लेख को अब ओवरसीज कांग्रेस के प्रमुख सैम पित्रोदा ने सोशल मीडिया पर शेयर किया है। हालांकि सोशल मीडिया से अब यह पोस्ट हटा दी गई है। इस पर बीजेपी ने भी तीखी प्रतिक्रिया दी है और इसे दलितों का अपमान बताया है।

बीजेपी ने कांग्रेस पर लगाए यह आरोप

इस मसले पर बीजेपी के केंद्रीय मंत्रियों सहित कई नेताओं ने कांग्रेस पर आरोप लगाया है और कहा है कि कांग्रेस हमेशा से अंबेडकर विरोधी रही है। कांग्रेस की दलितों के प्रति यह नफरत नई नहीं है। विपक्षी दल अब इस लेख का समर्थन करके दलितों की विरासत को मिटाने की साजिश कर रहे हैं। केंद्रीय कानून मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने कहा कि हम इसकी निंदा करते हैं और कांग्रेस से पूछते हैं कि क्या वह अपने कमेंट पर कायम है। मंत्री ने कहा कि पूरी दुनिया बीआर अंबेडकर को भारत के संविधान का निर्माता मानती है। लेकिन कांग्रेस पार्टी अब टिप्पणी करके दलितों को अपमानित करने की अपनी मानसिकता दर्शा रही है।

 

 

भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता शहजाद पूनावाला ने आरोप लगाया कि कांग्रेस अंबेडकर विरोधी और दलित विरोधी है। कांग्रेस की दलित विरोधी सोच का सबूत एक बार फिर सामने आ गया है। पूनावाला ने पित्रोदा की टिप्पणी को झूठ करार दिया और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे से पूछा कि क्या उनकी पार्टी के नेता वास्तव में राहुल गांधी और सोनिया गांधी के मन की बात व्यक्त करते हैं। भाजपा प्रवक्ता ने दावा किया कि कांग्रेस शासन के दौरान दलितों और आदिवासियों को बहुत अत्याचारों का सामना करना पड़ा। उन्होंने खड़गे से पूछा कि अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के सदस्यों का और कितना अपमान किया जाएगा।

 

 

भाजपा के आईटी विभाग के प्रमुख अमित मालवीय ने सोशल मीडिया पर लिखा कि राहुल गांधी के करीबी सहयोगी और गुरु सैम पित्रोदा ने बाबा साहेब अंबेडकर का अपमान किया। भारत के संविधान को तैयार करने में उनके योगदान को कमतर आंका और कांग्रेस की तरह सभी चीजों का श्रेय नेहरू को दिया। उन्होंने आगे कहा कि दलितों और डॉ. अंबेडकर के प्रति कांग्रेस की नफरत... नई बात नहीं है। कांग्रेस ने तब भी उनकी विरासत को मिटाने की कोशिश की थी और अब भी कर रही है। मालवीय ने राजनीतिक यात्रा के दौरान राहुल गांधी के साथ एक तस्वीर साझा करते हुए कुलकर्णी पर भी निशाना साधा।

 

 

सुधींद्र कुलकर्णी ने रिसर्च का हवाला दिया

लेख पर मचे बवाल के बाद भी कुलकर्णी अपने दावों पर कायम हैं। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि संविधान को आकार देने में नेहरू की भूमिका अम्बेडकर से अधिक थी और उन्होंने अपने तर्क के समर्थन में शोध का हवाला दिया है। कहा है कि अंबेडकर ने संविधान की प्रस्तावना का मसौदा तैयार करने में कोई महत्वपूर्ण भूमिका नहीं निभाई। कुलकर्णी ने ऐतिहासिक साक्ष्यों और अंबेडकर के बयानों का हवाला देते हुए संविधान के मुख्य वास्तुकार के रूप में अपनी भूमिका के प्रति अंबेडकर की अस्वीकृति पर प्रकाश डाला। एक पोस्ट में भी उन्होंने कहा कि संविधान और इसकी प्रस्तावना में किसने अधिक योगदान दिया? नेहरू ने अम्बेडकर नहीं। उन्होंने कहा कि बाबा साहेब अंबेडकर भारतीय संविधान के जनक हैं, यह बात हमारे देश के आधुनिक इतिहास का यह सबसे बड़ा झूठ है। 

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