सार

Vaishakh Purnima 2024: हिंदू पंचांग का दूसरा महीना है वैशाख। इस महीने की पूर्णिमा का महत्व अनेक ग्रंथों में बताया गया है। इसे दिन पीपल वृक्ष की पूजा का विशेष महत्व है। इस बार वैशाख पूर्णिमा मई 2024 में है।

 

Peepal Purnima 2024 Kab Hai: धर्म ग्रंथों के अनुसार, वैशाख मास के स्वामी स्वयं भगवान विष्णु हैं। इसलिए इस महीने की पूर्णिमा तिथि का विशेष महत्व माना गया है। इस बार वैशाख मास की पूर्णिमा 23 मई, गुरुवार को है। इस दिन बुद्ध और कूर्म जयंती का पर्व भी मनाया जाता है। वैशाख पूर्णिमा का एक नाम पीपल पूर्णिमा भी है। इसलिए इस दिन पीपल वृक्ष की पूजा विशेष रूप से की जाती है। जानें इस दिन पीपल वृक्ष की पूजा क्यों की जाती है और इस पेड़ को इतना पवित्र क्यों माना जाता है…

वैशाख पूर्णिमा को क्यों कहते हैं पीपल पूर्णिमा?
हिंदू धर्म में पेड़-पौधों को भी देवता के रूप में पूजने की परंपरा है। इसलिए अलग-अलग तिथियों पर कुछ खास पेड़ पौधों की पूजा करने की परंपरा बनाई गई है जैसे-तुलसी, बरगद, आंवला और पीपल आदि। पीपल की पूजा के लिए वैशाख मास की पूर्णिमा निश्चित की गई है। इसके पीछे धार्मिक कारण है। पुराणों के अनुसार, वैशाख मास के स्वामी स्वयं भगवान विष्णु हैं और पीपल को भी भगवान विष्णु का ही स्वरूप माना जाता है। यही कारण है कि वैशाख मास की पूर्णिमा को पीपल पूर्णिमा भी कहते हैं और इस दिन पीपल की पूजा भी की जाती है।

क्यों खास है पीपल का वृक्ष?
वैज्ञानिक दृष्टिकोण से भी पीपल का पेड़ बहुत खास है क्योंकि ये एकमात्र ऐसा पेड़ है जो 24 घंटे ऑक्सीजन देता है जबकि अन्य पेड़ सिर्फ दिन में ऑक्सीजन देते हैं और रात में कार्बन डाय ऑक्साइड जैसी घातक गैस छोड़ते हैं। यानी ये कहा जा सकता है पीपल का वृक्ष का मानव जीवन को सुरक्षित रखने में बहुत बड़ा योगदान है। पीपल के पेड़ में औषधीय गुण भी होते हैं। पीपल के इन गुणों को हमारे पूर्वज जानते थे, इसलिए उन्होंने इस पेड़ की पूजा का नियम बनाया।


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