धर्म नगरी प्रयागराज में इस वक्त आध्यात्म और शास्त्र दोनों धरती पर आ गए हैं। जहां साधु संतो के चरण पड़ने से ये धरती और पवित्र हो गई है। इस मेले में एक ऐसे साधु हैं जो 12 साल से गुड़ और मूंगफली खाकर जिंदा है।
यूपी में योगी सरकार बनने के बाद पहली बार सोमवार को कैबिनेट बैठक हुई, जो कि आमतौर पर हर हफ्ते में मंगलवार होती थी। इस बैठक में पुलिस कमिश्नर सिस्टम लागू कर दिया गया, जिसे योगी सरकार ने मंजूरी दे दी है।
प्रयागराज में गंगा किनारे इन दिनों माघ मेला चल रहा है। माघ मेले में इस बार श्रद्धालुओं को कई बड़ी समस्याओं से गुजरना पड़ रहा है। मेला क्षेत्र में सरकार के संचार क्रान्ति की हवा निकल चुकी है। सभी मोबाइल कंपनियों के नेटवर्क पूरी तरह ध्वस्त हो चुके हैं। कल्पवासी श्रद्धालु इसको लेकर काफी परेशान हैं।
उज्जैन में महाकाल मंदिर में दर्शन के लिए जिस प्रकार ड्रेस कोड लागू है। कुछ उसी तरह अब वाराणसी के काशी विश्वनाथ मंदिर में ड्रेस कोड लागू किया जा रहा है। इस नए नियम के मुताबिक, मंदिर में काशी विश्वनाथ के स्पर्श दर्शन के लिए अब पुरुषों को धोती-कुर्ता और महिलाओं को साड़ी पहनना होगा।
केंद्रीय उपाध्यक्ष चंपत राय ने कहा कि 490 वर्ष से चल रही लड़ाई कलंक के प्रतीक का समापन हुआ है। इस राष्ट्र के आध्यात्मिक सत्ता को पूरी दुनिया में मान्यता मिल रही है। हमारी कामना सबके सुख की है, इसी के लिए हम निरंतर प्रयासरत हैं।
प्रयागराज में संगम की रेती पर माघ मेला चल रहा है। पूरे देश से लोग इस माघमेले में गंगा स्नान के लिए आकर पुण्य कमाने के लिए पहुंच रहे हैं। माघ मेले में ही कई साधु ऐसे हैं जो अपनी कठिन साधना कर रहे हैं। ऐसे ही एक साधु महर्षि दयाशंकर दास तपस्वी भी हैं।
माघ मेला क्षेत्र में विहिप के शिविर में अयोध्या के राम मंदिर का मॉडल रखा गया है। यहां पर रखे गए मॉडल का निर्माण सीतापुर की स्वयंसेवी संस्थाओं ने किया है। मेले तक यहां आने वाले श्रद्धालु इसका दीदार कर सकेंगे।
कल्पवासियों के लिए शौचालय तक की ठीक से व्यवस्था नहीं है। जगह-जगह गड्ढे खोदकर छोड़ दिए गए, जिसके कारण कल्पवारियों को खुले में शौच करने जाना पड़ रहा है, जबकि इसके लिए सरकार ने बजट भी जारी किया है।
प्रयागराज (uttar pradesh) । अयोध्या में राम मंदिर निर्माण की कवायद तेज हो गई है। सौ करोड़ रुपए में बनाए जाने वाले इस भव्य मंदिर का स्वरूप कैसा होगा। इसका विहिप की ओर से तैयार प्रस्तावित मॉडल शाम को जारी कर दिया। साथ ही विहिप के शिविर में राम भक्तों के दर्शन के लिए रखा गया है। जिसे आम लोगों ने भी देखा।
माघ मेले में ही लगने वाले विश्व हिंदू परिषद के शिविर में 20 जनवरी को केंदीय मार्ग दर्शक मंडल की बैठक होगी। इनमें राम मंदिर निर्माण से जुड़े कई बड़े प्रस्तावों के पास किए जाने की उम्मीद जताई जा रही है। इसे अगले दिन होने वाले संत सम्मेलन में स्वीकृति के लिए रखा जाएगा, जिसके बाद आगे की कार्यवाही होगी।