प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को लाल किले से तिरंगा फहराया। इस दौरान उन्होंने देश को भी संबोधित किया। इस दौरान पीएम मोदी ने कोरोना और कोरोना वैक्सीन का भी जिक्र किया। पीएम मोदी ने कहा, आज देश के हर नागरिक के मन में एक ही सवाल है कि कोरोना की वैक्सीन कब बनेगी?
हैदराबाद की फार्मा कंपनी भारत बायोटेक ने कोरोना की पहली वैक्सीन तैयार कर ली है। आईसीएमआर और पुणे के नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी के साथ मिलकर इसे बनाया गया है। ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया ने कोवैक्सीन के ह्यूमन ट्रायल को मंजूरी दे दी है। ट्रायल जुलाई में शुरू होंगे।
कोरोना वैक्सीन को लेकर अगले महीने तक खुशखबरी आ सकती है। भारत बॉयोटेक के चीफ एक्जीक्यूटिव अधिकारी कृष्ण मोहन इला ने कहा, हम इसको लेकर सकारात्मक दिशा में बढ़ रहे हैं।
भारत में 30 ग्रुप कोरोना वैक्सीन बनाने की कोशिश कर रहे हैं। भारत सरकार के प्रधान वैज्ञानिक सलाहकार प्रोफेसर के विजय राघवन ने कहा, यह बहुत रिस्की प्रॉसेस है। दुनिया में बहुत सारे लोग वैक्सीन की बात कर रहे हैं लेकिन यह पता नहीं है कि किसकी वैक्सीन प्रभावी होगी। अगर वैक्सीन वेस्ट हो जाती है तो नुकसान भी होता है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोरोना वायरस वैक्सीन के विकास पर टास्क फोर्स की एक बैठक की अध्यक्षता की। बैठक में वैक्सीन विकास, ड्रग्स की खोज, टेस्टिंग और डायग्नोसिस में भारत के प्रयासों की वर्तमान स्थिति की विस्तृत समीक्षा की गई।
दुनिया भर के लिए सबसे बड़ा खतरा बन गए कोरोना वायरस की रोकथाम के लिए भारत में इसका वैक्सीन बनाने का काम तेजी से शुरू हो गया है। देश की करीब आधा दर्जन कंपनियां इसके लिए काम में लग गई हैं। वैक्सीन विकसित करने का यह काम अमेरिका और भारत एक साथ मिल कर करने जा रहे हैं।