21 जून, रविवार को दो बड़ी खगोलीय घटनाएं होने वाली हैं। पहली घटना सूर्यग्रहण है। इसमें सूर्य और पृथ्वी के बीच में चंद्रमा इस तरह आ जाएगा कि सूर्य का आधे से ज्यादा हिस्सा छिप जाएगा और कंगन की तरह दिखाई देगा। इसे रिंग ऑफ फायर भी कहा जाता है।
21 जून, रविवार को खंडग्रास यानी आंशिक सूर्यग्रहण होगा। भारत के साथ ही एशिया, अफ्रिका और यूरोप में ग्रहण दिखाई देगा।
आषाढ़ महीने में तिथि वार और नक्षत्रों की विशेष स्थिति बन रही है। हिंदी कैलेंडर के इस महीने में कई महत्वपूर्ण घटनाएं होने के योग बन रहे हैं।
21 जून, रविवार को साल का पहला सूर्यग्रहण होगा। ये ग्रहण भारत में दिखाई देगा। इसलिए इसका बड़ा प्रभाव देखने को मिलेगा।
जून 2020 में एक चंद्र और एक सूर्य के योग बन रहे हैं। 5 जून को चंद्रग्रहण होगा, लेकिन ये भारत में दिखाई नहीं देगा। इसलिए भारत में इसका कोई धार्मिक महत्व नहीं होगा।
कुछ ही दिनों में नया साल 2020 शुरू होने वाला है। हर साल की तरह इस साल भी ग्रहण के योग बन रहे हैं।
26 दिसंबर, गुरुवार को सूर्यग्रहण होगा। ये ग्रहण भारत में अधिकतम स्थानों पर खंडग्रास सूर्यग्रहण के रूप में दिखाई देगा। दक्षिण भारत के कुछ स्थानों पर कंकणाकृति सूर्यग्रहण भी दिखाई देगा।
26 दिसंबर, गुरुवार को पौष मास की अमावस्या है। इस दिन सूर्योदय मूल नक्षत्र में होगा।
रणजी ट्राफी में सूर्यग्रहण कुछ अलग ही तरीके से असर कर रहा है। यहां सूर्यग्रहण के कारण मैच अपने समय पर शुरू नहीं हो पाएगें। गुरुवार को रणजी के मैच 9.30 के बजाय 11.30 पर शुरू होंगे।
26 दिसंबर, गुरुवार को खंडग्रास सूर्य ग्रहण होगा। यह साल 2019 का अंतिम सूर्यग्रहण होगा। इस समय धनु राशि में 6 ग्रह एक साथ रहेंगे।