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80 Stories by Manoj Jha

कोरोना के मरीज को निमोनिया बता भेज दिया घर, खुली पोल तो कहा- 26 लाख रुपए जमा करो

Mar 22 2020, 11:44 AM IST

कोरोना वायरस पूरी दुनिया के लिए सबसे बड़ा खतरा बन कर सामने आया है। चीन के हुबेई प्रोविन्स के वुहान शहर से फैला यह वायरस दुनिया के सैकड़ों देशों में कहर बरपा रहा है। अमेरिका में भी इससे बड़ी संख्या में लोग पीड़ित हैं। अमेरिका वैसे तो दुनिया का सबसे विकसित देश माना जाता है, लेकिन वहां कोरोना से पीड़ित एक महिला जब हॉस्पिटल में भर्ती हुई तो डॉक्टरों ने उसे निमोनिया से पीड़ित बताया। दरअसल, कोरोना और निमोनिया के लक्षण मिलते-जुलते हैं। लेकिन एक हफ्ते के बाद जांच में उसे कोरोना से संक्रमित पाया गया। इसके बाद डॉक्टरों ने उसे घर भेज दिया और इलाज के बिल के रूप में 26 लाख रुपए की मांग की। डैनी एस्किनी नाम की यह महिला छाती में दर्द होने पर अस्पताल गई थी। यह महिला अमेरिका के बोस्टन शहर की रहने वाली है। उसे छाती में दर्द के साथ माइग्रेन की समस्या थी और सांस लेने में भी दिक्कत हो रही थी। कोरोना संक्रमण का पता चलने के बाद और इतना भारी-भरकम बिल देख कर महिला परेशान हो गई। उसके पास कोई हेल्थ इन्श्योरेंस भी नहीं था। बता दें कि अमेरिका में करीब 2 करोड़, 70 लाख लोगों के पास हेल्थ इन्श्योरेंस नहीं है। वैसे, अमेरिका में कोरोना वायरस की मुफ्त जांच किए जाने की घोषणा की गई है, लेकिन जिन लोगों के पास कोई बीमा नहीं है, उन्हें इलाज के लिए भारी-भरकम रकम चुकानी पड़ सकती है। इससे लोगों की परेशानी बढ़ गई है। देखें अमेरिका में कोरोना वायरस संक्रमण से पैदा हुए हालात की तस्वीरें।  

बेरहमों ने मां को जहर देकर मार दिया, फिर कुत्ते ने ले लिया बच्चे को गोद, नहीं होने देती आंखों से दूर

Mar 19 2020, 02:47 PM IST

हिमाचल प्रदेश के सोलन के एक इलाके में लोगों ने जहर देकर कुछ बंदरों को मार डाला। वे उनकी हरकतों से परेशान हो थे। इसमें एक 10 दिन के बंदर के बच्चे के मां-बाप की जान भी चली गई। छोटा-सा बंदर का बच्चा अनाथ हो गया। वह इधर-उधर परेशानहाल घूम रहा था। उसे देख कर एक प्रेग्नेंट डॉग की ममता उमड़ आई। उसने बंदर के उस छोटे बच्चे को अपना लिया। वह हर समय उसकी देख-रेख करने लगी और उसका ध्यान रखने लगी। बंदर का बच्चा भी उसे अपनी मां की तरह मानने लगा। इन दोनों की कुछ तस्वीरें फोटोग्राफर प्रकाश बादल ने ली हैं, जिनमें इन जानवरों का आपसी प्यार दिखाई पड़ता है। 48 वर्षीय फोटोग्राफर प्रकाश बादल सोलन के चक्की मोर में पक्षियों की तस्वीरें लेने गए थे। तभी उन्हें ये दृश्य दिखाई पड़े। इन तस्वीरों को देख कर किसी का दिल भर आएगा।   

कोरोना से बच निकली महिला ने बताया- ऐसा लगा जैसे मैंने कांच निगल लिया हो, आग की भट्टी सा तपता था शरीर

Mar 19 2020, 01:25 PM IST

पूरी दुनिया में कोरोना वायरस संक्रमण के मामले बढ़ते ही जा रहे हैं। चीन के बाद यूरोप और अमेरिका सबसे ज्यादा लोग इसके शिकार हो रहे हैं। ब्रिटेन में सरकार के चीफ साइंटिफिक एडवाइजर सर पैट्रिक वॉलेन्स ने स्वीकार किया है कि फिलहाल यहां कोरोना वाायरस संक्रमण के 55 हजार मामले हो सकते हैं। मंगलवार को अधिकारियों ने कहा कि कोरोना के मामले बहुत तेजी से बढ़ रहे हैं और पिछले 24 घंटे में वहां 407 लोग इससे संक्रमित पाए गए। इससे अभी तक वहां 104 लोगों की मौत हो चुकी है। इसी बीच, ब्रिटेन की एक फोटोग्राफर 46 साल की मैंडी चार्ल्सटन ने कोरोना का खौफनाक अनुभव बताया है। मैंडी को एम्बुलेंस से न्यू कैसल के रॉयल विक्टोरिया इनफर्मरी में दाखिल कराया गया। मैंडी को पहले फीवर हुआ था। उसका टेम्परेचर 39 डिग्री सेल्शियस से भी ज्यादा हो गया था। कोरोना संक्रमण के भयानक अनुभव को बताते हुए तीन बच्चों की मां मैंडी ने कहा कि ऐसा लग रहा था कि उसे मानो जलती हुई भट्टी में झोंक दिया गया हो। उसे महसूस हो रहा था कि उसने जैसे कांच निगल लिया हो। मैंडी करीब 20 घंटे तक लगातार सोती रहीं। अस्पताल में इलाज के बाद उनकी स्थिति कुछ बेहतर हुई और अब वह घर में ही आइसोलेशन में रह रही हैं। साथ ही, डॉक्टर की सलाह पर पैरासिटामोल ले रही हैं। तस्वीरों में देखें कोरोना वायरस से ब्रिटेन में कैसा हाल हो गया है।     

मस्जिद में अल्लाह से कोरोना का कहर कम करने की मांगी दुआएं, घर लौटते ही हजारों आए वायरस की चपेट में

Mar 18 2020, 01:13 PM IST

कोरोना वायरस का खतरा कम होने का नाम नहीं ले रहा। दुनिया के ज्यादातर देश इस वायरस के फैलने से बड़ी मुसीबतों का सामना कर रहे हैं। पूरी दुनिया में लाखों लोग इससे संक्रमित हो चुके हैं, वहीं हजारों की मौत हो चुकी है। इससे बचाव के लिए लोगों को एक जगह जुटने से रोका जा रहा है, लेकिन मलेशिया की राजधानी कुआलालंमपुर की एक मस्जिद में 27 फरवरी से 1 मार्च तक चले एक आयोजन में करीब 16 हजार लोग जुटे, जिनमें 1,500 विदेशी भी थे। इसके चलते मलेशिया में कोरोना बहुत तेजी से फैला। बता दें कि मलेशिया में कोरोना वायरस संक्रमण के अब तक 673 मामले सामने आ चुके हैं। मलेशिया के स्वास्थ्य मंत्री का कहना है कि संक्रमण के मामले मस्जिद में हुए समारोह के बाद तेजी से बढ़े। इस समारोह में शामिल एक युवक की मंगलवार को मौत भी हो गई। बताया जाता है कि मस्जिद में यह आयोजन इस्लामिक मूवमेंट तबलीगी जमात ने कराया था। इस आयोजन में शामिल होने के लिए कनाडा, नाइजीरिया, भारत, चीन, साउथ कोरिया और ऑस्ट्रेलिया से भी लोग गए थे। फिलहाल, इस मस्जिद को अब बंद कर दिया गया है, लेकिन इसे मलेशियाई सरकार की एक बड़ी सुरक्षा चूक बताया जा रहा है। तस्वीरों में देखें मलेशिया में कोरोना वायरस के चलते कैसी स्थिति बन गई है। 

कोरोना वायरस के मरीजों को मौत दे रहा पाकिस्तान, टेंट में इस हाल में रहने को हैं मजबूर

Mar 17 2020, 03:57 PM IST

कोरोना वायरस का खतरा अब पूरी दुनिया में बहुत ज्यादा ही बढ़ गया है। चीन, जापान, साउथ कोरिया, ईरान और भारत समेत दूसरे एशियाई देशों के अलावा यूरोप और अमेरिका में भी कोरोना ने जिंदगी की रफ्तार पर रोक लगा दी है। सभी देश अपने-अपने तरीके से इस खतरनाक वायरस से जूझने में लगे हैं, वहीं पड़ोसी देश पाकिस्तान में भी कोरोना ने कहर बरपाना शुरू कर दिया है। पाकिस्तान के सिंध प्रांत में कोरोना का असर सबसे ज्यादा है। सोमवार को वहां कोरोना के 50 नए मामले सामने आए, जिसके बाद पूरे पाकिस्तान में कोरोना वायरस से संक्रमित लोगों की संख्या 120 हो गई है। पाकिस्तान में कोरोना से खतरा इसलिए ज्यादा है कि वहां सेनिटेशन की व्यवस्था काफी खराब है और अस्पतालों की हालत भी अच्छी नहीं है। जहां दूसरे देशों में कोरोना से संक्रमित मरीजों को आइसोलेशन में रखा जाता है, पाकिस्तान में बहुत से लोग गंदगी के ढेर के पास टेंटों में रहने को मजबूर हैं। बहरहाल, पाकिस्तान की सरकार ने कोरोना से निपटने के लिए उच्च स्तरीय राष्ट्रीय सुरक्षा समिति की बैठक की। इस बैठक की अध्यक्षता प्रधानमंत्री इमरान खान ने की। इसमें कोरोना से निपटने के लिए कई कदम उठाने के फैसले लिए गए। लेकिन पाकिस्तान की बदहाल व्यवस्था को देखते हुए वहां कोरोना ज्यादा कहर बरपा सकता है, इसमें दो राय नहीं है। वैसे, सरकार ने लोगों के एक जगह जुटने और मस्जिदों में भीड़ लगाने पर रोक लगा दी है। वहां के ज्यादातर शिक्षण संस्थानों को भी बंद कर दिया गया है। तस्वीरों में देखें कोरोना से पाकिस्तान में कैसी स्थिति पैदा हो गई है।   
 

आज से 8 साल पहले इस देश में फैला था कोरोना वायरस, देखते ही देखते हुई थी इतने लोगों की मौत

Mar 17 2020, 01:09 PM IST

कोरोना वायरस का खतरा तेजी से पूरी दुनिया में फैलता ही चला जा रहा है। लाख कोशिशों के बावजूद इस पर नियंत्रण कर पाना संभव नहीं हो रहा है। लाखों की संख्या में लोग इस जानलेवा वायरस के संक्रमण से प्रभावित हैं और हजारों की मौत हो चुकी है। कई देशों में लॉकडाउन की स्थिति बन गई है। स्कूल-कॉलेज और दूसरे संस्थान बंद हैं। बड़ी-बड़ी कंपनियां लोगों को घर से ही काम करने की सुविधा दे रही है। दुनिया भर में पर्यटकों ने आना-जाना बंद कर दिया है। बड़े-बड़े स्मारक और दर्शनीय स्थल बंद किए जा चुके हैं। भारत में कोरोना वायरस से संक्रमित लोगों की संख्या 126 हो गई है। यहां अब तक तीन लोगों की मौत इस वायरस से हो चुकी है। देश में शिक्षण संस्थान बंद कर दिए गए हैं। यहां तक कि आगरा का वर्ल्ड फेमस ताज महल भी पर्यटकों के लिए बंद किया जा चुका है। कोरोना वायरस की वजह से पूरी दुनिया में एक तरह से हेल्थ इमरजेंसी जैसे हालात बन गए हैं। वहीं, एक सबसे बड़ी बात यह सामने आई है कि कोरोना वायरस की पहचान सबसे पहले सितंबर, 2012 में हुई थी। सांइस डेली (Science Daily) जर्नल के मुताबिक, शोधकर्ताओं ने सबसे पहले साल 2012 में ही इसके बारे में जानकारी हासिल कर ली थी, जब मिडल ईस्ट और यूरोप में करीब 17 लोगों में कोरोना से मिलते-जुलते लक्षण पाए गए थे। इन 17 लोगों में 11 की मौत हो गई थी। यह रिसर्च नीदरलैंड्स के हेग स्थित नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ (एनआईएच) के एलर्जी एंड इन्फेक्शस डिजीज के वैज्ञानिकों ने बंदरों पर की थी। इसमें पाया गया था कि इस वायरस का असर 24 घंटे के भीतर शुरू हो जाता है। इससे खास तौर पर फेफड़े प्रभावित होते हैं और न्यूमोनिया जैसे लक्षण सामने आने लगते हैं। साइंस डेली के मुताबिक, कोरोना वायरस के सैंपल नीदरलैंड्स के एरासमस मेडिकल सेंटर के सहयोग से एनआईएच के शोधकर्ताओं ने हासिल किए थे और इसका मॉडल भी तैयार किया था। उस समय कौन जानता था कि 8 साल के बाद इस वायरस से पूरी दुनिया में महामारी जैसे हालात पैदा हो जाएंगे। देखें कोरोना वायरस से संबंधित तस्वीरें।

दिन-रात काम करवाने से चिढ़ गया ऊंट, चबा गया मालिक का सिर, लाश देख कांप गई रूह

Mar 16 2020, 04:20 PM IST

राजस्थान के बीकानेर में रविवार को दिल को दहला देने वाली एक अजीब ही घटना सामने आई। एक ऊंट ने गुस्से में आकर अपने मालिक को मार डाला। ऊंट ने मालिक की गर्दन को तब तक दबोचे रखा और काटा खाया, जब तक कि उसका सिर धड़ से अलग नहीं हो गया। इतना ही नहीं, ऊंट इतने गुस्से में था कि उसने अपने मालिक का एक पैर भी चबा डाला। इस घटना से लोग सकते में हैं। वैसे, ऊंट कभी भी इतना हिंसक नहीं होता। यह घटना बीकानेर के लालगढ़ रेलवे कॉलोनी की है। ऊंट के मालिक का नाम भंवरलाल बताया जा रहा है। वह ऊंट को गाड़ी में जोतता था। कहा जा रहा है कि जरूरत से ज्यादा काम लिए जाने से ऊंट को गुस्सा आ गया और उसने मालिक पर हमला कर दिया। घटना के बाद काफी समय तक भंवरलाल का शव जमीन पर ही पड़ा रहा। इसे देखने के लिए लोगों की भीड़ जुट गई, लेकिन किसी की हिम्मत नहीं हुई कि वह वहां जाए। बाद में मृतक का बेटा घटना स्थल पर आया और ऊंटगाड़ी को सड़क के किनारे ले जाया गया। घटना की जानकारी मिलने के बाद पुलिस भी आई। भंवरलाल के शव को पोस्टमॉर्टम के लिए भेजा गया। इस घटना से लोगों में खौफ फैल गया है।  

क्या वाकई चिकन खाने से फैलता है कोरोना वायरस, मार्केट में 10 रुपए किलो भी खरीदने को तैयार नहीं लोग

Mar 16 2020, 03:22 PM IST

कोरोना वायरस के फैलने से सबसे ज्यादा असर पॉल्ट्री बिजनेस पर पड़ा है। लोग डर की वजह से नॉनवेज फूड कम खा रहे हैं। लोगों को लगता है कि नॉनवेज फूड से कोरोना वायरस का संक्रमण हो सकता है। इसलिए वे सावधानी बरत रहे हैं। नॉनवेज आइटम में सबसे ज्यादा लोग चिकन और अंडे खाना पसंद करते हैं। लेकिन कोरोना के चलते दुनिया के कई देशों में चिकन और अंडों की मांग में भारी गिरावट आई है। वैसे, यह अभी तक कन्फर्म नहीं हुआ है कि चिकन खाने से कोरोना वायरस का संक्रमण होने का खतरा है। भारत में भी कोरोना वायरस के 100 से ज्यादा मामले सामने आ चुके हैं। इसलिए यहां भी चिकन के मार्केट में मंदी छाई हुई है। भारत में सबसे ज्यादा महाराष्ट्र में कोरोना वायरस संक्रमण के मामले सामने आए हैं। वहां करीब-करीब लोगों ने चिकन खाना बंद ही कर दिया है। महाराष्ट्र के कई शहरों में चिकन 10 रुपए किलो बिक रहा है, फिर भी लोग खरीद नहीं रहे हैं। भारी घाटे के कारण वहां पॉल्ट्री का बिजनेस करने वाले लोग सरकार से मुआवजा मांग रहे हैं और आंदोलन तक कर रहे हैं। देश के लगभग रह राज्य में पॉल्ट्री का व्यवसाय भारी मंदी के दौर से गुजर रहा है। वहीं, डॉक्टरों का कहना है कि चिकन खाने से कोरोना वायरस का संक्रमण नहीं होता। लोगों के मन से डर निकालने के लिए पिछले दिनों गोरखपुर पॉल्ट्री फार्म एसोसिएशन ने चिकन मेले का आयोजन किया, वहीं हैदराबाद में भी तेलांगना के मंत्रियों ने चिकन खा कर लोगों के मन से डर निकालने की कोशिश की है। तस्वीरों में देखें कोरोना वायरस का चिकन के बिजनेस पर कैसा असर पड़ा है।  

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