सार
स्विटजरलैंड ने बैंक्स डिटेल्स जो शेयर किए हैं उसमें पहचान, खाता और वित्तीय जानकारी शामिल है। इसमें अकाउंट होल्डर का नाम, पता, निवास का देश और कर पहचान संख्या के साथ-साथ रिपोर्टिंग वित्तीय संस्थान, खाता में बैलेंस और पूंजीगत आय से संबंधित जानकारी शामिल है।
Swiss Bank account details: स्विटजरलैंड ने स्विस बैंक में भारतीय अकाउंट होल्डर्स के डिटेल भारत सरकार से साझा किए हैं। खातों के डिटेल्स का साझा किया गया यह चौथा सेट है। स्विटजरलैंड ने यह डिटेल्स एनुअल ऑटोमेटिक इंफार्मेशन एक्सचेंज के तहत किया है। इस एक्सचेंज के तहत 101 देशों के साथ करीब 34 लाख अकाउंट्स का डिटेल्स शेयर किया गया है। भारत के साथ शेयर किए गए इंडियन अकाउंट्स के डिटेल्स कुछ व्यक्तियों, कॉरपोरेट्स और ट्रस्टों से जुड़े हुए हैं। हालांकि, इन खातों में यह नहीं बताया गया है कि इनमें ब्लैक मनी जमा हैं लेकिन इतना जरूर शक जताया गया है कि इन खातों को ओपन टैक्स बचाने व अन्य वित्तीय दांवपेंच के लिए किया गया है। सरकारी सूत्रों के अनुसार इन डेटाज का इस्तेमाल मनी लॉन्ड्रिंग जांच, टेरर फंडिंग सहित अन्य टैक्स चोरी के मामलों की जांच में किया जा सकेगा।
तमाम नेताओं, राजघरानों व बिजनेसमेन के खातों का डिटेल
शेयर किए गए डेटाज में कुछ मामले पनामा, ब्रिटिश वर्जिन आइलैंड्स और केमैन आइलैंड्स जैसे विभिन्न विदेशी अधिकार क्षेत्र में भारतीयों द्वारा स्थापित संस्थाओं से संबंधित हैं। तमाम खाते बिजनेसमेन, राजनेताओं और राजघरानों के साथ साथ परिवार के सदस्यों के भी हैं। आदान-प्रदान की गई जानकारी टैक्स अधिकारियों को यह सत्यापित करने की अनुमति देती है कि करदाताओं ने अपने कर रिटर्न में अपने वित्तीय खातों को सही ढंग से घोषित किया है या नहीं। स्विट्ज़रलैंड में भारतीयों के स्वामित्व वाले फ्लैट, अपार्टमेंट और कॉन्डोमिनियम के बारे में जानकारी के साथ-साथ ऐसी संपत्तियों से होने वाली कमाई पर भी जानकारी दी ताकि उन संपत्तियों से जुड़ी टैक्स देनदारियों को देखने में मदद मिल सके।
पांच नए देशों को इंफो किया साझा, एक लाख अकाउंट्स बढ़े
फेडरल टैक्स एडमिनिस्ट्रेशन (एफटीए) ने स्विस बैंक्स के डिटेल्स 101 देशों को शेयर करते हुए बताया कि इस बार पांच नए देशों को डेटा एक्सचेंज प्रोग्राम में शामिल किया गया है। इस बार अल्बानिया, ब्रुनेई दारुस्सलाम, नाइजीरिया, पेरू और तुर्की को भी उनके देश के लोगों द्वारा खोले गए अकाउंट्स के बारे में डिटेल्स दे दिए गए हैं। एफटीए ने बताया कि स्विस बैंक्स में इस बार लगभग एक लाख नए अकाउंट्स खोले गए हैं।
101 देशों का खुलासा नहीं
एफटीए ने बताया कि पहले यह एक्सचेंज 74 देशों में ही परस्पर तौर पर शेयर किया जाता था। लेकिन अब 101 देशों को शेयर किया जाता है। लेकिन रूस सहित 27 देशों के मामले में कोई जानकारी शेयर नहीं की जाती है। एफटीए के अनुसार भारतीय खातों के बड़े पैमाने पर डिटेल्स शेयर किए गए हैं। यह अकाउंट्स बड़े संस्थानों, बिजनेस हाउसेस व व्यक्तियों से संबंधित है। अगला डिटेल सितंबर 2023 में शेयर किया जाएगा।
2019 में भारत को पहला डिटेल शेयर किया
भारत को सितंबर 2019 में AEOI (सूचना का स्वचालित आदान-प्रदान) के तहत स्विट्जरलैंड से विवरण का पहला सेट प्राप्त हुआ था। यह उस वर्ष ऐसी जानकारी प्राप्त करने वाले 75 देशों में शामिल था। पिछले साल भी भारत को खातों का डिटेल्स मिला। बीते साल भारत ऐसे 86 साझेदार देशों में शामिल था। इन खातों के डिटेल्स से उन लोगों के खिलाफ कार्रवाई के लिए इस्तेमाल किया जा रहा है जिन्होंने गलत तरीके से बेहिसाब संपत्ति हासिल की है। मनी लॉन्ड्रिंग में शामिल होकर देश के कानून को तोड़ा है। नाम न छापने की शर्त पर अधिकारियों ने कहा कि स्विस बैंक्स का डिटेल ज्यादातर व्यवसायियों से संबंधित हैं। इसमें ढेर सारे एनआरआई हैं जो अब कई दक्षिण-पूर्व एशियाई देशों के साथ-साथ अमेरिका, ब्रिटेन और यहां तक कि कुछ अफ्रीकी और दक्षिण अमेरिकी देशों में भी बस गए हैं।
स्विस बैंक खातों का यह डिटेल है शेयर किया गया
स्विटजरलैंड ने बैंक्स डिटेल्स जो शेयर किए हैं उसमें पहचान, खाता और वित्तीय जानकारी शामिल है। इसमें अकाउंट होल्डर का नाम, पता, निवास का देश और कर पहचान संख्या के साथ-साथ रिपोर्टिंग वित्तीय संस्थान, खाता में बैलेंस और पूंजीगत आय से संबंधित जानकारी शामिल है।
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