सार

छत्तीसगढ़ के कवर्धा में सांप के डसने का एक चौंकाने वाला मामला सामने आया है। घटना शनिवार रात करीब 12 बजे की है। दम्पती अपने 10 साल के बेटे के साथ जमीन पर सो रहे थे। इसी दौरान सांप ने तीनों को डस लिया। महिला की नींद खुली, तो उसने सांप को जाते देखा। उसने अपने पति को उठाया। लेकिन बेटा बेहोश था। उसके चिल्लाने पर पड़ोसी तीनों को अस्पताल लेकर पहुंचे, लेकिन एक-एक करके तीनों ने दम तोड़ दिया। सबसे पहले बेटे ने दम तोड़ा। इसके बाद बच्चे के पिता की मौत हो गई। वहीं, एक मिनट बाद महिला की जान चली गई। इस घटना के बाद गांव में दहशत का माहौल है।
 

कवर्धा, छत्तीसगढ़. आधी रात घर में घुसे एक सांप ने पूरे परिवार को डसकर खत्म कर दिया। घटना शनिवार रात करीब 12 बजे की है। दम्पती अपने 10 साल के बेटे के साथ जमीन पर सो रहे थे। इसी दौरान सांप ने तीनों को डस लिया। महिला की नींद खुली, तो उसने सांप को जाते देखा। उसने अपने पति को उठाया। लेकिन बेटा बेहोश था। उसके चिल्लाने पर पड़ोसी तीनों को अस्पताल लेकर पहुंचे, लेकिन एक-एक करके तीनों ने दम तोड़ दिया। घटना कवर्धा जिले के कुकदूर थाना क्षेत्र के मुनमुना गांव की है।

सांप के डसने पर महिला की खुली थी नींद..

जानकारी के मुताबिक, मुनमुना गांव में रहने वाले समय लाल (40), उसकी पत्नी गंगा बाई (35) और बेटे संदीप (10) को शनिवार रात करीब 12 बजे सांप ने डस लिया था। तीनों जमीन पर सो रहे थे। सांप के डसने पर गंगाबाई की नींद खुली। उसने सांप को जाते देखा, तो घबरा गई। उसने पति को उठाया। पति को जब सांप के डसने की जानकारी लगी, तो वो घबरा गया। दम्पती ने देखा कि उनका बेटा बेहोश था। यह देखकर वे चीखने लगे। उनकी आवाजें सुनकर पड़ोसी वहां पहुंचे। इसके बाद रात 3 बजे लोगों की गाड़ी की व्यवस्था की है। इसके बाद तीनों को पंडरिया अस्पताल लेकर जाया गया। हालांकि तीनों की हालत नाजुक देखकर उन्हें जिला अस्पताल रेफर कर दिया गया। रविवार सुबह करीब 5 बजे तीनों को कवर्धा जिला अस्पताल पहुंचा गया। वहीं एक-एक करके तीनों ने दम तोड़ दिया। सबसे पहले बेटे की मौत हुई। इसके बाद सुबह करीब 7.08 बजे समयलाल ने दम तोड़ दिया। इसके एक मिनट बाद गंगाबाई की मौत हो गई।

दो बच्चों की जान बच गई...
संदीप दम्पती का सबसे बड़ा लड़का था। वो कक्षा 5वीं का छात्र था। कुकदूर थाना प्रभारी सुमित नेताम ने बताया कि दम्पती का एक छोटा बेटा और एक साल की बेटी दूसरे कमरे में सो रहे थे। यह संयोग है कि उस दिन वे अलग सो रहे थे।
 

यह भी पढ़ें
बेबस मां का दर्द: इतने पैसे नहीं कि वो बेटे का कर सके अंतिम संस्कार, बोली साहब शव का जो करना है करो....

2004 का वो हादसा, जिसे जोगी ने बताया था जादू-टोना..उसके बाद फिर कभी व्हील चेयर से नहीं उठ पाए

जरा-सी लापरवाही कितना भयंकर एक्सीडेंट करा देती है, यह तस्वीर यही दिखाती है, आप भी अलर्ट रहें

जब कहीं से नहीं दिखी मदद की उम्मीद, तो भूखे और नंगे पैर हजारों मील के सफर पर चल पड़े गरीब, देखें तस्वीरें

तबाही के ये दृश्य दुबारा कोई देखना नहीं चाहेगा..ये वो तस्वीरें हैं, जिनके पीछे कई जिंदगियां तबाह हो गई थीं