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Afghanistan में पांच शेरों वाली घाटी, जहां हैं तालिबान की मौत! ऐसा क्या है जो यहां घुसने की हिम्मत नहीं की
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पंजशीर को कभी जीता नहीं जा सकी
पंजशीर वो जगह है जिसे कभी भी विदेशियों या अफगान जीत नहीं सके। यह इलाका हमेशा मुक्त बना हुआ है। पंजशीर घाटी अफगानिस्तान के 34 प्रांतों में से एक है। यहां 512 गांवों के साथ 7 जिलों है। 2021 तक पंजशीर प्रांत की जनसंख्या लगभग 173,000 थी।
पंजशीर घाटी नॉर्दन अलॉयंस का गढ़ है
पंजशीर को पंजशेर भी कहते हैं, जिसका मतलब है पांच शेरों की घाटी। ये 1970 और 1980 के दशक में सोवियत के सामने टिका रहा, यानी तब भी इसे जीता नहीं जा सका। अब ये तालिबान विरोधी मोर्चे का केंद्र बन गया है।
नॉर्दन अलायंस सैनिकों का एक मोर्चा है, जिसे 1960 में तालिबान का मुकाबला करने के लिए तैयार किया गया था। इसे ईरान, ताजिकिस्तान, उज्बेकिस्तान और तुर्कमेनिस्तान जैसे देशों का समर्थन था। 1996 और 2001 के बीच तालिबान को पूरे देश पर कब्जा करने से रोकने में नॉर्दन अलॉयंस की महत्वपूर्ण भूमिका थी।
अमेरिका लेता रहा है नॉर्दन अलायंस की मदद ली
नॉर्दन अलायंस की ताकत का अंदाजा इस बात से भी लगा सकते हैं कि जब 9/11 के बाद अमेरिका ने अफगानिस्तान पर हमला किया था, तब भी उसने नॉर्दन अलायंस की मदद ली थी। तब नॉर्दन अलायंस की मदद से तालिबान को अफगानिस्तान से खदेड़ दिया गया था।
पंजशीर के लोग लड़ाई में माहिर
पंजशीर के लोगों में लड़ाई का कौशल और जज्बा कूट-कूट कर भरा है। न्यूयॉर्क टाइम्स की एक रिपोर्ट के मुताबिक, वहां के एक स्थानीय का कहना है कि हम तालिबान से लड़ेंगे। सरेंडर नहीं करेंगे। पंचशीर के लोगों ने कभी भी आतंकियों के आगे घुटने नहीं टेके। उनके सामने सरेंडर करने से पहले हम मरना पसंद करेंगे।
तालिबान को धूल चटाने के लिए तैयार है पंजशीर
अभी पंजशीर में शांति है। डर का माहौल नहीं है। लेकिन यहां रहने वाले लोगों का पता है कि आने वाले कुछ दिनों में तालिबान उनके ऊपर हमला जरूर करेगा। वे इसके लिए तैयार हैं। उनका साफ तौर पर कहना है कि हम भागेंगे नहीं। तालिबान का डटकर मुकाबला करेंगे।
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