Dhirendra Shastri Tea Lover: बागेश्वर धाम के 'सरकार' यानि पं. धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री को लेकर ये बात नहीं जानते होंगे आप कि उनको चाय बहुत पसंद है। थोड़ी बहुत नहीं बल्कि वो दिनभर में 30 कप तक चाय पी जाते हैं।
हमारा दिमाग यानी ब्रेन हेल्दी है तो शरीर भी फिट रहता है। न्यूरोसाइंटिस्ट ने बताया कि ताउम्र अपने दिमाग को यंग तीन आदतों को बदलकर रखा जा सकता है। जिसकी वजह से भूलने की बीमारी नहीं होगी। आइए जानते हैं दिमाग को हेल्दी रखने के लिए क्या नहीं करना चाहिए।
World Brain Tumor Day 2023 को 8 जून को मनाया जा रहा है। इस दिन को मनाने का उद्देश्य लोगों को जागरूक करना है। ब्रेन ट्यूमर के शुरुआती लक्षणों को नजरअंदाज न किया जाए तो इस बीमारी का इलाज संभव है।
ब्रेन ट्यूमर एक बेहद ही खतरनाक और जानलेवा बीमारी है। दुनिया भर में हर साल लाखों लोगों की मौत इसकी वजह से हो जाती है। वक्त रहते इसके लक्षण पहचानने जरूर होती है। ताकि वक्त पर इलाज किया जा सके। वर्ल्ड ब्रेन ट्यूमर डे पर जानते हैं इस बीमारी के बारे।
वजन का बढ़ना कई बीमारियों को अपने साथ लेकर आता है। ये हम सभी को पता है। लेकिन क्या है मेमोरी लॉस की वजह बन सकती है? हाल में हुए रिसर्च में इसका खुलासा हुआ है जो उन लोगों के लिए चेतावनी है जो अपने मोटापे को लेकर गंभीर नहीं होते हैं।
brain tumor symptoms, world brain tumor day 2023: पहली बार साल 2000 में जर्मन ब्रेन ट्यूमर एसोसिएशन द्वारा इस दिन की शुरुआत की गई थी। यह रोग हर उम्र के लोगों को बुरी तरह से प्रभावित करता है। जानें इसके लक्षण।
Heart Attack vs Cardiac Arrest Difference: हार्ट फेल होने के शुरुआती लक्षणों में सांस लेने में विजिबल परेशानी, थकान और पैरों में सूजन शामिल है। जानें कार्डियक अरेस्ट और हार्ट अटैक में अंतर।
हेल्थ डेस्क.ब्रिटिश कार्डियोवास्कुलर सोसाइटी कॉन्फ्रेंस में पेश किए गए रिसर्च के मुताबिक स्टेंट लगाने के छह महीने तक रोजाना चुकंदर का जूस पीने से एनजाइना के रोगियों में दिल का दौरा पड़ने या दोबारा ट्रीटमेंट की आवश्यकता होने की संभावना कम हो जाती है।
गुजरात के दिल की बीमारी के मशहूर डॉक्टर गौरव गांधी की हार्ट अटैक से मौत हो गई। 41 साल की उम्र में कार्डियोलॉजिस्ट की धड़कने रुक गईं। अब तक उन्होंने 16000 मरीजों के हार्ट की सर्जरी कर उनकी जान बचाई थी।
Wash 2 body parts Regularly: बॉडी के 2 अंग ऐसे हैं जिनकी सफाई ना करने से परिणाम बहुत बुरे हो सकते हैं। इन दो अंगों की साफ-सफाई के मामले में अक्सर किसी का ध्यान नहीं जाता है।