Israel Palestine war: इजराइल और फिलिस्तीन में जंग शुरू 3 दिन हो चुके हैं। इस युद्ध में अब तक कईं हजार लोग मारे जा चुके हैं। इस दौरान जो 2 नाम सबसे ज्यादा चर्चा में आए हैं, वो है हमास और हिज्बुल्लाह। कईं देशों ने इन्हें आतंकी संगठन घोषित किया हुआ है।
इजराइल और फिलिस्तीन में जंग शुरू हुए 3 दिन हो चुके हैं। इस जंग में अब तक दोनों ओर से कईं हजार लोगों की मौत हो चुकी है। फिलिस्तीन एक मुस्लिम देश है और इजराइल में यहूदी धर्म को मानने वाले लोग रहते हैं।
Triskaidekaphobia: हमारे देश में कईं तरह की मान्यताएं हैं। इनमें से कुछ मान्यताएं बेहद डराने वाली हैं। इस तरह की कुछ मान्यताएं विदेश में भी काफी प्रचलित है। ऐसी ही कुछ मान्यताएं नंबर ऑफ 13th से भी जुड़ी हुई हैं।
akshardham temple usa: दुनिया के दूसरे सबसे बड़े मंदिर का उद्घाटन 8 अक्टूबर 2023 को किया गया। खास बात ये है कि ये मंदिर भारत में नहीं बल्कि कहीं और बना है। इस मंदिर की विशालता और भव्यता का अंदाजा लगाना भी मुश्किल है।
Sarvapitri Moksha Amavasya 2023: श्राद्ध पक्ष की अंतिम तिथि आश्विन मास की अमावस्या होती है। इसे सर्वपितृ मोक्ष अमावस्या भी कहते हैं। इस बार ये तिथि बहुत ही खास हो गई हैं क्योंकि इस दिन 1 नहीं कईं दुर्लभ संयोग बन रहे हैं।
हिंदू धर्म में पति-पत्नी को एक-दूसरे का पूरक कहा गया है। धर्म ग्रंथों में तो यहां तक कहा गया है कि पति-पत्नी को एक-दूसरे के कर्मों का फल भी मिलता है। इसलिए पत्नी को कुछ काम भूलकर भी नहीं करने चाहिए, इससे पति को परेशानी हो सकती है।
Kitchen Tips: घर का एक बहुत ही खास हिस्सा होता है किचन। यहां बनाए भोजन से ही हमें एनर्जी मिलती है, इसलिए वास्तु और ज्योतिष शास्त्र में भी इसे काफी खास स्थान माना गया है। यहां देवी अन्नपूर्णा का निवास माना जाता है।
Navratri Tradition: आश्विन मास में हर साल नवरात्रि का पर्व मनाया जाता है। नवरात्रि के पहले दिन देवी की विशाल प्रतिमाओं की स्थापना की जाती है। 9 दिनों तक इन देवी प्रतिमाओं की विधि-विधान से पूजा की जाती है।
14 अक्टूबर, शनिवार को साल 2023 का अंतिम सूर्यग्रहण होने जा रहा है। ये ग्रहण काफी खास माना जा रहा है क्योंकि इस दौरान सूर्य एक चमकती रिंग के समान दिखाई देगा। इसलिए इसे रिंग ऑफ फायर नाम दिया गया है।
Pitru Paksha 2023: इन दिनों श्राद्ध पक्ष चल रहा है जो 14 अक्टूबर तक रहेगा। इस दौरान पितरों की तस्वीर सामने रख उनकी आत्मा की शांति के लिए श्राद्ध-तर्पण आदि किया जाता है। पितरों की तस्वीर को लेकर अलग-अलग मान्यताएं हैं।