Unique Temples Of India: उत्तराखंड के चमोली में भगवान विष्णु का ऐसा मंदिर है जो साल में सिर्फ एक बार रक्षाबंधन पर ही खुलता है। इस दिन यहां दर्शन करने वालों की भीड़ उमड़ती है। इस मंदिर से जुड़ी एक रोचक कथा भी है।
VanshiNarayan Temple Interesting Facts: हमारे देश में अनेक चमत्कारी और रहस्यमयी मंदिर हैं। इन मंदिरों से कोई न कोई मान्यता और परंपरा जुड़ी हुई है। ऐसा ही एक मंदिर उत्तराखंड के चमोली में है। यहां स्थित भगवान विष्णु का ये मंदिर साल में सिर्फ एक बार रक्षाबंधन पर ही दर्शनों के लिए खोला जाता है। इस दौरान यहां बड़ी संख्या में भक्त दर्शन करने आते हैं। जानें क्यों खास है ये मंदिर और क्या है इससे जुड़ी मान्यता?
कौन-सा मंदिर सिर्फ रक्षाबंधन पर ही खुलता है?
उत्तराखंड के चमोली में स्थित ये मंदिर भगवान विष्णु को समर्पित है। इसे बंशीनारायण मंदिर के नाम से जाना जाता है। स्थानीय परंपरा के अनुसार, इस मंदिर के पट साल में सिर्फ एक दिन रक्षाबंधन पर ही खोले जाते हैं। साल के अन्य दिन ये बंद ही रहता है। इस मंदिर को रक्षाबंधन की सुबह खोला जाता है और सूर्यास्त होते ही बंद कर दिया जाता है। ये मंदिर 8वीं शताब्दी का बताया जाता है। इस बार ये मंदिर 9 अगस्त, शनिवार को रक्षाबंधन के मौके पर खोला जाएगा।
क्या है बंशीनारायण मंदिर से जुड़ी मान्यता?
ऐसा कहा जाता है कि साल भर इस मंदिर में देवऋषि नारद भगवान विष्णु की पूजा करते हैं। इस दौरान यहां किसी को भी आने की मनाही होती है। साल में सिर्फ एक दिन रक्षाबंधन के दिन ही भक्त यहां दर्शन करने आते हैं। ऐसा भी कहा जाता है कि भाई-बहन अगर इस मंदिर में एक साथ दर्शन करें तो उनकी बीच जीवन भर प्रेम बना रहता है। महिलाएं इस मंदिर में दर्शन करने के साथ-साथ भगवान को राखी भी बांधती हैं।
क्या है बंशीनारायण मंदिर से जुड़ी कथा?
बंशीनारायण मंदिर से जुड़ी एक रोचक कथा भी है। उसके अनुसार जब दैत्यों के राजा बलि ने भगवान विष्णु से वरदान मांगा कि आप पाताल लोक में मेरे द्वारपाल बनकर रहिए तो वचनबद्ध होने के कारण भगवान को वहां जाना पड़ा। तब देवी लक्ष्मी पाताल लोक गईं और राजा बलि को राखी बांधकर अपना भाई बना लिया और उपहार में अपने पति यानी भगवान विष्णु को मांग लिया। राजा बलि ने जिस स्थान पर भगवान विष्णु को देवी लक्ष्मी से मिलवाया था, वहीं पर बंशीनारायण मंदिर का निर्माण हुआ है। इसलिए इस मंदिर का भाई-बहन से खास कनेक्शन है।
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इस आर्टिकल में जो जानकारी है, वो धर्म ग्रंथों, विद्वानों और ज्योतिषियों से ली गईं हैं। हम सिर्फ इस जानकारी को आप तक पहुंचाने का एक माध्यम हैं। यूजर्स इन जानकारियों को सिर्फ सूचना ही मानें।
