Bihar 2025 Assembly Election News: राजद से निष्कासित होने के बाद तेज प्रताप यादव ने चुपचाप रची बड़ी सियासी चाल! पांच अनजान लेकिन आक्रामक दलों को साथ जोड़कर बनाया गठबंधन, अब महुआ से निर्दलीय लड़ने का ऐलान… क्या यह RJD के लिए खतरे की घंटी है?
Tej Pratap Yadav alliance 2025: राजद से निष्कासित होने के बाद तेज प्रताप यादव ने पांच छोटी पार्टियों के साथ मिलकर ‘5-पार्टी गठबंधन’ का गठन किया है, जिससे बिहार चुनाव 2025 में बड़ा उलटफेर हो सकता है। उन्होंने महुआ सीट से निर्दलीय चुनाव लड़ने की घोषणा की और ‘टीम तेज प्रताप यादव’ नाम से सोशल मीडिया के जरिए जनसंपर्क अभियान शुरू किया।
तेज प्रताप यादव ने क्यों चुना पांच छोटी पार्टियों का साथ?
पटना की एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में बिहार के पूर्व मंत्री तेज प्रताप यादव ने घोषणा की कि वे बिहार चुनाव 2025 के लिए एक पांच-पार्टी गठबंधन के साथ मैदान में उतरने जा रहे हैं। इस गठबंधन में शामिल हैं:
- विकासशील वंचित इंसान पार्टी (वीवीआईपी)
- भोजपुरिया जन मोर्चा (बीजेएम)
- प्रगतिशील जनता पार्टी (पीजेपी)
- वाजिब अधिकार पार्टी (WAP)
- संयुक्त किसान विकास पार्टी (SKVP)
इन दलों के राष्ट्रीय अध्यक्षों की मौजूदगी में तेज प्रताप ने यह सियासी धमाका किया।
राजद से निष्कासन के बाद क्या है तेज प्रताप का अगला सियासी प्लान?
तेज प्रताप यादव, जिन्हें उनके पिता लालू प्रसाद यादव ने हाल ही में "गैर-जिम्मेदाराना व्यवहार" के चलते राजद से छह साल के लिए निष्कासित कर दिया था, अब महुआ विधानसभा सीट से निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में चुनाव लड़ने का एलान कर चुके हैं। उन्होंने कहा-"लोग चाहे मेरा मजाक उड़ाएं, मैं अपना रास्ता खुद बनाऊंगा। हमारा गठबंधन सामाजिक न्याय और बिहार में बदलाव की दिशा में काम करेगा।"
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'टीम तेज प्रताप' क्या है? सोशल मीडिया से क्या बड़ा गेम खेलने की तैयारी?
तेज प्रताप ने दावा किया कि उनके पास "टीम तेज प्रताप यादव" नाम से एक मजबूत सोशल मीडिया नेटवर्क है, जो जमीनी स्तर पर जनता से कनेक्ट कर रहा है। उनके अनुसार, बड़ी संख्या में युवा और समर्थक इस अभियान से जुड़ रहे हैं।
लालू के बेटे की बगावत: राजनीति या व्यक्तिगत नाराज़गी?
तेज प्रताप का निष्कासन तब हुआ जब उन्होंने सोशल मीडिया पर एक महिला 'अनुष्का' के साथ रिश्ते में होने की बात कही थी। हालांकि बाद में उन्होंने यह पोस्ट डिलीट कर दी और दावा किया कि उनका अकाउंट हैक हो गया था। मगर लालू यादव ने साफ कर दिया कि पार्टी में अनुशासनहीनता बर्दाश्त नहीं की जाएगी। इसके बाद तेज प्रताप ने अपने सोशल मीडिया हैंडल पर इशारों-इशारों में कहा कि उनके और तेजस्वी यादव के बीच दूरी पैदा करने की "साजिश" हो रही है। उन्होंने ‘जयचंद’ जैसे शब्दों का उपयोग कर संकेत दिए कि राजनीति में विश्वासघात हो चुका है।
क्या यह गठबंधन RJD की चुनावी तैयारी में सेंध लगाएगा?
तेज प्रताप का यह कदम ऐसे समय पर आया है जब RJD आगामी विधानसभा चुनाव तेजस्वी यादव के नेतृत्व में लड़ने जा रही है। क्या तेज प्रताप का गठबंधन RJD के वोट बैंक में सेंध लगाएगा? क्या यह पांच छोटी पार्टियां मिलकर कोई बड़ा उलटफेर करेंगी?
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