सार
राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार ने आईएएस गिरधर व आईपीएस सुशील कुमार बिश्नोई को सस्पेंड कर दिया है। दोनों की जल्द गिरफ्तारी हो सकती है। उन्होंने अजमेर में होटल कर्मचारियों को नंगा करके पीटा था। एक पर रेप का आरोप भी लगा है।
जयपुर. आईपीएस और आईएएस अफसरों ने गुंडों की जैसी हरकतें की और नतीजा ये रहा कि दोनो को नौंकरी गंवानी पड गई। उनके साथ साथ उनका कहना मानने वाले छह अन्य सरकारी कार्मिक भी निपटा दिए गए। अब सबसे बड़ी बात ये है कि दोनो आईएएस और आईपीएस अफसरों पर गिरफ्तारी की तलवार भी लटक रही है। दोनो के खिलाफ जांच शुरू कर दी है कि सरकार ने, अगर जांच में दोषी पाए जाते हैं तो फिर जेल जाना तय है। मामला राजस्थान के अजमेर जिले से जुड़ा हुआ है। बताया जा रहा है कि चुनाव के साल में सीएम इस घटना से बेहद नाराज हैं और दोनो अफसरों के खिलाफ जांच कराने के बाद रिपोेर्ट सात से दस दिन में मांगी गई है।
होटल स्टाफ ने शराब पीने से टोका भर था… थाने से पुलिस की जीप भर लाए आईपीएस....
दरअसल, पूरा मामला अजमेर जिले के गेगल थाना इलाके से होकर गुजरने वाले गंगवास हाइवे पर स्थित होटल मकराना राज का है। 11 जून को देर रात आईपीएस सुशील विश्नोई और आईएएस गिरधर अपने कुछ स्टाफ के साथ होटल के बाहर थे और फिर अंदर शराब पीने चले गए। वहां पर होटल स्टाफ ने देर रात शराब पीने से टोका और कहा कि होटल का रेस्टोरेंट बंद कर दिया गया है। ऐसे में जिद बहस हुई और उसके बाद दोनो पक्षों में विवाद हो गया।
अफसरों ने होटल स्टाफ को नंगा कर बुरी तरह पीटा
विवाद के बाद आईपीएस सुशील और उनके साथी वहां से सीधे गेगल थाने गए। वहां पर जो स्टाफ मौजूद था उसे साथ लेकर आए और होटल स्टाफ को नंगा कर उनकी पिटाई कर डाली। इसका फुटेज वायरल होने के बाद बवाल हो गया। होटल मालिक महेन्द्र सिंह ने अपने स्टाफ के साथ मारपीट की शिकयत एसपी चूनाराम जाट को दी। एसपी से मामला डीजीपी उमेश मिश्रा तक पहुंचा । उसके सरकार तब बात पहुंची। सरकार ने अजमेर डेवलपमेंट अथॉरिटी के आयुक्त आईएएस गिरधर, नवगठित गंगापुर जिले के ओएसडी आईपीएस सुशील बिश्नोई ,गेगल थाने के एएसआई रुपाराम, कॉन्स्टेबल गौतम और मुकेश यादव, टोंक टोंक के पुलिस कॉन्स्टेबल मुकेश जाट, टोंक जिले में तहसील के कनिष्ठ सहायक हनुमान प्रसाद ओर टोंक पटवारी नरेंद्र सिंह दहिया को सस्पेंड कर दिया। कुछ अन्य पर भी कार्रवाई की गई है। सस्पेंशन ऑर्डर देर रात जारी किए गए हैं। दोनो अफसरों के खिलाफ जांच अलग से शुरू कर दी गई है।
आईपीएस सुशील विश्नोई पर रेप के आरोप भी लग चुके....
दरअसल आईपीएस विश्नोई का कैरियर शुरू से ही दागदार रहा है। 2018 में सिविल सेवा की तैयारी के दौरान जोधपुर में एक युवती ने रेप का आरोप लगाया। जिस युवती से संपर्क में थे आईपीएस बनते ही उससे सगाई तोड दी। बाद में रेप का मामला दर्ज हुआ। आठ लाख रुपए और सोना हडपने का आरोप भी लगा, लेकिन बाद में उस केस पर एफआर लगा दी गई। प्रशिक्षण के दोरान करीब तीन साल पहले बिहार की रहने वाली एक युवती ने भी दिल्ली में रेप का आरोप लगाया, लेकिन बाद में उसमें भी एफआर लगा दी गई। अब यह तीसरा केस है जब मारपीट का मामला सामने आया है। इसका तो फुटेज भी पुलिस को मिला है।