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Ambedkar jayanti 2022: डॉ. भीम राव अंबेडकर के वो 10 वचन, जो हर इंसान को करते है मोटीवेट
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“मुझे वह धर्म पसंद है जो स्वतंत्रता, समानता और बंधुत्व सिखाता है।”- बाबा साहेब अम्बेडकर
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“बुद्धि का विकास मानव के अस्तित्व का अंतिम लक्ष्य होना चाहिए।”- डॉ भीमराव रामजी अम्बेडकर
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“शिक्षित बनो, संगठित रहो और उत्तेजित बनो।”- डॉ भीमराव रामजी अम्बेडकर
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“मैं एक समुदाय की प्रगति को महिलाओं द्वारा हासिल की गई प्रगति के स्तर से मापता हूं।”- डॉ भीमराव अम्बेडकर
“धर्म मनुष्य के लिए है न कि मनुष्य धर्म के लिए।” - डॉ भीमराव अम्बेडकर
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“एक महान आदमी एक प्रतिष्ठित आदमी से इस तरह से अलग होता है कि वह समाज का नौकर बनने को तैयार रहता है।”
“मनुष्य नश्वर है, उसी तरह विचार भी नश्वर हैं। एक विचार को प्रचार-प्रसार की जरूरत होती है, जैसे कि एक पौधे को पानी की, नहीं तो दोनों मुरझाकर मर जाते हैं।”
“समानता एक कल्पना हो सकती है, लेकिन फिर भी इसे एक गवर्निंग सिद्धांत रूप में स्वीकार करना होगा।”- डॉ भीमराव रामजी अम्बेडकर
“वे इतिहास नहीं बना सकते जो इतिहास को भूल जाते हैं।”- बाबा साहेब अम्बेडकर
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"मन की साधना मानव अस्तित्व का अंतिम लक्ष्य होना चाहिए।" - डॉ भीमराव रामजी अम्बेडकर
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