Gandhi Jayanti 2023: हर साल 2 अक्टूबर को महात्मा गांधी की जयंती पूरे देश में मनाई जाती है। महात्मा गांधी प्रतिदिन कुछ समय निकालकर भजन जरूर गाते थे। उनका एक भजन बहुत प्रसिद्ध है- वैष्णव जन तो तेने कहिये।
Diwali 2023 Date: दिवाली हिंदुओं का सबसे बड़ा त्योहार। ये पर्व हर साल कार्तिक मास की अमावस्या पर मनाया जाता है। ये त्योहार धन तेरस से लेकर भाई दूज तक कुल 5 दिनों तक मनाया जाता है, लेकिन इस बार ये त्योहार 5 नहीं बल्कि 6 दिनों तक मनाया जाएगा।
Pitru Paksha Beliefs: इन दिनों श्राद्ध पक्ष चल रहा है, जो 14 अक्टूबर तक रहेगा। श्राद्ध से जुड़ी कई मान्यताएं और परंपराएं हमारे समाज में प्रचलित हैं। उसी में से एक मान्यता ये भी है कि श्राद्ध के दौरान खरीदी नहीं करनी चाहिए।
गरुड़ पुराण हिंदू धर्म के प्रमुख ग्रंथों में से एक है। इस ग्रंथ में मृत्यु के बाद के अनेक रहस्यों के बारे में बताया गया है। गरुड़ पुराण में ये भी बताया गया है कि कैसे यमदूत आपके प्राण यमराज तक लेकर जाएंगे और उसके बाद क्या होगा।
Pitra Dosh Ka Upay: अक्सर लोग पितृ दोष के कारण परेशान रहते हैं। पितृ दोष के कारण जीवन में कईं तरह की परेशानियां बनी रहती हैं। एक छोटे से उपाय से पितृ दोष का बुरा असर काफी हद तक कम किया जा सकता है।
इस बार श्राद्ध पक्ष 29 सितंबर से 14 अक्टूबर तक रहेगा। मान्यता है कि इस दौरान पितृ धरती पर अपने वंशजों से मिलने आते हैं और उनके द्वारा दिए गए तर्पण और श्राद्ध को भोजन और जल के रूप में ग्रहण करते हैं।
October 2023 Special Dates: साल 2023 का दसवां महीना अक्टूबर शुरू होने वाला है। इस महीने में कईं बड़े व्रत-त्योहार मनाए जाएंगे, जिसके चलते ये महीना बहुत ही खास हो गया है। इस महीने के अंत में साल का अंतिम चंद्रग्रहण भी होगा, जो भारत में दिखाई देगा।
Shradh Ke Niyam: इस बार श्राद्ध पक्ष की शुरूआत 29 सितंबर से हो चुकी है, जो 14 अक्टूबर तक रहेगा। इस दौरान लोग प्रतिदिन अपने पितरों की आत्मा की शांति के लिए तर्पण, पिंडदान आदि कार्य कर सकते हैं। श्राद्ध करते समय कुछ बातों का ध्यान रखना चाहिए।
Gaya Pitru Paksha Mela 2023 Date:आश्विन मास के पहले पखवाड़े में पितृ पक्ष आता है। इसे महालया भी कहते हैं। इन 16 दिनों में पितरों की आत्मा की शांति के लिए पिंडदान आदि किए जाते हैं। श्राद्ध-पिंडदान के लिए बिहार के गया को सबसे उत्तम तीर्थ माना गया है।
Pitru Paksha 2023: पितृ पक्ष के दौरान पितरों की आत्मा की शांति के लिए श्राद्ध-पिंडदान आदि किया जाता है। लेकिन कुछ लोग पैसों के अभाव में विधि-विधान से श्राद्ध आदि नहीं कर पाते। ऐसी स्थिति में कुछ आसान उपाय कर पितरों की प्रसन्न किया जा सकता है।