Satna Police Finds Missing Mother: जुड़वां बच्चों को अस्पताल में छोड़ भागी महिला कोई और नहीं, खुद थी मासूमों की विधवा मां! समाज के तानों और डर ने उसे बना दिया ‘फरार आरोपी’, 12 दिन बाद सतना पुलिस ने खोला दिल दहला देने वाला सच!
Satna Twin Newborns Death: मध्यप्रदेश के सतना जिले में एक ऐसी सच्ची लेकिन डरावनी कहानी सामने आई है जो दिल को झकझोर देती है। एक महिला ने जुड़वां नवजातों को जिला अस्पताल में भर्ती कराया और खुद गायब हो गई। दोनों बच्चों की इलाज के दौरान मौत हो गई और परिजन कोई सामने नहीं आया, जिससे अस्पताल प्रशासन और पुलिस भी हैरान रह गई।
मौसी बनकर आई महिला, गलत नंबर देकर हुई गायब
9 जुलाई को रामनगर से एक महिला जुड़वां नवजातों को सतना जिला अस्पताल लेकर आई थी। उसने खुद को बच्चों की मौसी बताया, औपचारिकताएं पूरी कीं और फिर चुपचाप अस्पताल से चली गई। बच्चे बेहद नाजुक स्थिति में थे और उन्हें एसएनसीयू (नवजात गहन चिकित्सा इकाई) में भर्ती किया गया।
फोन नंबर और पता-दोनों निकले फर्जी, अस्पताल प्रशासन हैरान
20 जुलाई को पहले बच्चे की मृत्यु हो गई। जब अस्पताल ने परिजनों से संपर्क करना चाहा, तो पता चला कि दिया गया मोबाइल नंबर बंद या गलत है और पता भी फर्जी है। डॉक्टर योगेश मिश्रा ने इस मामले की सूचना सतना अस्पताल चौकी को दी।
12 दिन बाद ऐसे सामने आई असलियत
कोतवाली थाना प्रभारी रावेंद्र द्विवेदी के नेतृत्व में पुलिस ने जांच शुरू की। लंबी खोजबीन के बाद आखिरकार 22 जुलाई को असली मां को रामनगर से खोज निकाला गया और उसे अस्पताल लाया गया। इस बीच दूसरे नवजात की भी मौत हो गई। दोनों बच्चों के शव मर्चुरी में रखे गए थे, जिन्हें मंगलवार को कागजी कार्रवाई के बाद मां और नाना को सुपुर्द किया गया।
डर और समाज की ठुकराहट ने मां को बना दिया दोषी?
जांच में पता चला कि महिला विधवा है, पति की मौत 2022 में हो गई थी। समाज के तानों और मानसिक दबाव के चलते उसने बच्चों को स्वीकार नहीं किया और फर्जी पहचान से अस्पताल में भर्ती करवा कर भाग गई। जब बच्चों को सबसे ज़्यादा जरूरत थी मां की, तब वह नहीं थी। सवाल सिर्फ इंसानियत पर नहीं, समाज की सोच और हमारी संवेदनाओं पर भी है।
