हर साल कार्तिक अमावस्या को दीपावली का पर्व मनाया जाता है। इस बार ये पर्व 27 अक्टूबर, रविवार को है। इस दिन मुख्य रूप से देवी लक्ष्मी की पूजा की जाती है।
धर्म ग्रंथों के अनुसार, धन लाभ के लिए देवी लक्ष्मी की पूजा करना श्रेष्ठ उपाय है। धन की देवी लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए अनेक मंत्रों और स्तुतियों की रचना की गई है। उन्हीं में से एक है श्रीसूक्त।
मान्यता है कि दिवाली पर धन लाभ से जुड़े खास उपाय करने से कंगाल व्यक्ति भी मालामाल बन जाता है। इसलिए इसे स्वयं सिद्धि मुहूर्त भी कहा जाता है।
कार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा यानी दीपावली के दूसरे दिन गोवर्धन पूजा की जाती है।
हमारे देश में देवी लक्ष्मी के अनेक मंदिर है पर उस सभी में चेन्नई के आडयार समुद्र तट पर बना अष्टलक्ष्मी मंदिर विशेष है।
भारत अनेकता में एकता का देश है। यहां हर शहर की अपनी एक अलग ही खासियत है, जो कि त्योहारों में देखने को मिलती है।
दीपावली पर देवी लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए अनेक उपाय किए जाते हैं। इन उपायों में कई चीजों का उपयोग किया जाता है। ऐसी ही एक चीज है कमल गट्टा।
दीपावली (27 अक्टूबर, रविवार) की शाम को धन की देवी लक्ष्मी की पूजा की जाती है। मान्यता है कि इस दिन विधि-विधान से लक्ष्मी पूजा करने से घर में सुख-समृद्धि बनी रहती है।
कार्तिक मास की अमावस्या को दीपावली मनाई जाती है। इस बार ये पर्व 27 अक्टूबर, रविवार को है।
गीता के आखिरी अध्याय में कृष्ण अर्जुन को सन्यास के बारे में बताते हैं। वे सन्यास और त्याग के बीच का अंतर भी समझाते हैं। सन्यास अपनी इच्छाओं को खत्म कर देना है और त्याग अपने कर्म से मिलने वाले फल को अस्वीकार करना है।