ज्ञानवापी: हिंदू पक्ष के वकील की दो टूक, पूछा- 350 साल पहले फव्वारे की कौन सी तकनीकि थी, चलाकर दिखाओ

ज्ञानवापी सर्वे के बाद कोर्ट में रिपोर्ट दाखिल होने से पहले हिंदू पक्ष के वकील हरि शंकर जैन का बयान सामने आया है। उन्होंने यह बयान अस्पताल से जारी किया है। सर्वे के आखिरी दिन ही उनकी तबियत खराब हो गई थी और वह अस्पताल में थे। तबियत ठीक होने के बाद डिस्चार्ज होते ही उन्होंने अस्पताल में मीडिया को संबोधित किया। 

/ Updated: May 18 2022, 03:21 PM IST

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वाराणसी: ज्ञानवापी सर्वे के बाद कोर्ट में रिपोर्ट दाखिल होने से पहले हिंदू पक्ष के वकील हरि शंकर जैन का बयान सामने आया है। उन्होंने यह बयान अस्पताल से जारी किया है। सर्वे के आखिरी दिन ही उनकी तबियत खराब हो गई थी और वह अस्पताल में थे। तबियत ठीक होने के बाद डिस्चार्ज होते ही उन्होंने अस्पताल में मीडिया को संबोधित किया। 

'सच छिपाकर हो रहा माहौल शांत करने का प्रयास'
प्रमुख वकील हरि शंकर जैन ने कहा कि अगर सच को छिपाकर माहौल शांत हो तो ऐसा माहौल हमको नहीं चाहिए। माहौल बिगाड़ने को लेकर जो धमकी दे रहे हैं उन्हें सरेंडर करना चाहिए। उन्हें इस बात पर शर्मिंदा होना चाहिए कि उन्होंने इतने सालों तक सच को क्यों छिपाया। शिवलिंग को फव्वारा बताने वालों को उन्होंने जवाब देते हुए कहा कि अगर यह फव्वारा है तो चलाकर दिखाए। आखिर साढ़े तीन सौ साल पहले ऐसी कौन सी तकनीकि थी जिससे फव्वारा चलता था। इसी के साथ आगे कहा गया कि शिवलिंग काफी अंदर था। अगर व्यास जी के कमरे के आगे की जांच की जाए तो और भी सच सामने आ जाएगा। लेकिन सौहार्द की बात कहकर हमसे हमारा कानूनी अधिकार छीनने का प्रयास हो रहा है।

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