जन्म कुंडली से किसी भी व्यक्ति के जीवन के बारे में काफी कुछ जाना जा सकता है। जीवन में मिलने वाले सुख और अच्छी-बुरी घटनाओं के बारे में भी जन्म कुंडली देखकर अनुमाना लगाया जा सकता है।
अधिकतर लोग ऐसे हैं जो विदेश यात्रा पर जाने का सपना देखते हैं, लेकिन कुछ ही लोगों का ये सपना पूरा हो पाता है। ज्योतिष के मुताबिक कुंडली के कुछ खास योग होते हैं, जिनसे मालूम हो सकता है कि व्यक्ति कभी विदेश यात्रा कर पाएगा या नहीं।
ज्योतिष के अनुसार, किसी भी व्यक्ति की जन्म कुंडली देखकर उसके भविष्य के बारे में काफी कुछ जाना जा सकता है। कुंडली से ये भी पता चल सकता है कि किस व्यक्ति के भाग्य में क्या लिखा है और वो उसे कब मिलेगा।
जन्म कुंडली में कुछ ऐसे योग भी बनते हैं जो बताते हैं आपको ससुराल पक्ष से सहयोग मिलेगा या नहीं। ज्योतिष शास्त्र में इस विषय पर भी विशेष शोध किया गया है। ये योग कुंडली के अन्य ग्रह योगों के प्रभाव से बदल भी सकते हैं।
ज्योतिष में बताए गए नौ ग्रहों में से सबसे प्रभावशाली ग्रहों में से एक है शनि। शनि को न्यायाधीश माना जाता है यानी ये ग्रह ही हमारे कर्मों का फल मिलता है।
ज्योतिष में कुल नौ ग्रह बताए गए हैं और इन नौ ग्रहों में सूर्य का महत्व काफी अधिक है, क्योंकि ये ग्रहों का राजा है। कुंडली में 12 भाव होते हैं और हर भाव में ग्रहों का अलग असर रहता है।
व्यक्ति को ऊंचा पद मिलेगा या नहीं, सरकारी नौकरी मिलेगी या नहीं ये सब कुंडली में सूर्य की स्थिति पर निर्भर होता है। कुंडली में सूर्य की शुभ स्थिति व्यक्ति को मान-सम्मान और सुख-समृद्धि प्रदान करती है।
ज्योतिष के अनुसार कुंडली में कुल 12 भाव होते हैं और सभी भाव अलग-अलग बातों के कारक हैं।
किसी लड़की की शादी कैसे लड़के से होगी, इस सवाल का जवाब ज्योतिष से मिल सकता है।
व्यक्ति के जन्म के समय कुंडली में ग्रहों की शुभ-अशुभ जैसी भी स्थिति होती है, ठीक वैसा ही असर जीवनभर बना रहता है। नौ ग्रहों में शनि का स्थान काफी खास रहता है।