Bahula Chaturthi 2023: इस बार 13 सितंबर, रविवार को बहुला चतुर्थी का व्रत किया जाएगा। बहुला चौथ में भगवान श्रीकृष्ण की पूजा का महत्व है। मान्यता है कि इस व्रत को करने से योग्य संतान की प्राप्ति होती है।
Kajari Teej 2023: इस बार कजरी तीज का पर्व 2 सितंबर, शनिवार को मनाया जाएगा। इस दिन कुंवारी लड़कियां मनचाहे जीवन साथी के लिए शिवजी और देवी पार्वती की पूजा करती हैं। इस व्रत को करने से और भी कई शुभ फल मिलते हैं।
Sawan Last Somvar 2023: सावन का अंतिम सोमवार बहुत ही खास रहेगा। इस दिन सोम प्रदोष का संयोग बन रहा है जो बहुत ही दुर्लभ संयोग है। ये महीना, वार और तिथि सभी शिवजी को अति प्रिय है। इस दिन शिव पूजा से हर कामना पूरी हो सकती है।
Teej Kab ki hai: श्रावण मास के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को हरियाली तीज का कहते हैं। इस दिन देवी पार्वती के साथ महादेव की पूजा का भी विधान है। मान्यता है कि इस दिन व्रत और पूजा करने से घर में सुख-समृद्धि बनी रहती है और सौभाग्य अखंड रहता है।
Parma Ekadashi 2023: 12 अगस्त, शनिवार को सावन अधिमास के कृष्ण पक्ष की एकादशी का व्रत किया जाएगा। इसे पद्ममिनी और परमा एकादशी कहा जाता है। ये एकादशी 3 साल में एक बार आती है, इसलिए इसका विशेष महत्व धर्म ग्रंथों मे बताया गया है।
Mangala Gauri Vrat 2023: सावन के प्रत्येक मंगलवार को मंगला गौरी व्रत किया जाता है। इस बार सावन का अधिक मास होने से मंगला गौरी व्रत की संख्या दोगुनी हो गई है। 8 अगस्त को इस बार का छठा मंगला गौरी व्रत किया जाएगा।
Mangala Gauri Vrat 2023: 1 अगस्त, मंगलवार को मंगला गौरी व्रत किया जाएगा। ये इस बार का पाचंवा मंगला गौरी व्रत रहेगा। इस दिन कई शुभ योग बनेंगे, जिसके चलते इसका महत्व और भी ज्यादा हो गया है। इस व्रत के प्रभाव से घर में सुख-शांति बनी रहती है।
Sawan Pradosh 2023: इस बार सावन अधिक मास का पहला प्रदोष व्रत 30 जुलाई, रविवार को किया जाएगा। रविवार को प्रदोष व्रत होने से ये रवि प्रदोष कहलाएगा। इस दिन कई शुभ योग बन रहे हैं, जिसके चलते इसका महत्व और भी बढ़ गया है।
Krishna Janmashtami 2023 Kab Hai: हर साल भाद्रपद मास के कृष्ण पक्ष की अष्टमी तिथि को श्रीकृष्ण जन्माष्टमी का उत्सव किया जाता है। द्वापर युग में इसी तिथि पर भगवान श्रीकृष्ण का जन्म हुआ था। इस बार ये पर्व सितंबर माह में मनाया जाएगा।
Sawan Dusra Somvar 2023: सावन मास का दूसरा सोमवार 17 जुलाई को रहेगा। इस दिन कई शुभ योग बनेंगे, जिसके चलते इसका महत्व और भी बढ़ गया है। इस दिन हरियाली अमावस्या का पर्व भी मनाया जाएगा। सोमवार को अमावस्या होने से ये सोमवती अमावस्या भी कहलाएगी।