मॉब लिंचिंग में मारे गए कल्पवृक्ष महाराज का पुराना वीडियो आया सामने, अबोध बालक की तरह दे रहे गीता का ज्ञान

महाराष्ट्र के पालघर में पांच दिन पहले जूना अखाड़े के जिन दो संतों की पीट-पीटकर हत्या कर दी गई थी, उनमें एक कल्पवृक्ष गिरि महाराज (65) उत्तर प्रदेश के भदोही जिले के वेदपुर गांव के रहने वाले थे। उन्होंने महज 10 साल की आयु में घर छोड़कर संन्यास ले लिया था। कल्पवृक्ष गिरि महाराज एक वीडियो सामने आया है जिसमें वो बहुत सरलता से ज्ञान देते दिखाई दे रहे हैं।  सोशल मीडिया के जरिए जब कल्पवृक्ष की हत्या की खबर मिली तो सभी परिजन और गांववासी शोक में डूब गए। संत के भाई ने दोषियों को कड़ी सजा दिए जाने की मांग की।
 

/ Updated: Apr 23 2020, 06:50 PM IST

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वीडियो डेस्क। महाराष्ट्र के पालघर में पांच दिन पहले जूना अखाड़े के जिन दो संतों की पीट-पीटकर हत्या कर दी गई थी, उनमें एक कल्पवृक्ष गिरि महाराज (65) उत्तर प्रदेश के भदोही जिले के वेदपुर गांव के रहने वाले थे। उन्होंने महज 10 साल की आयु में घर छोड़कर संन्यास ले लिया था। कल्पवृक्ष गिरि महाराज एक वीडियो सामने आया है जिसमें वो बहुत सरलता से ज्ञान देते दिखाई दे रहे हैं। सोशल मीडिया के जरिए जब कल्पवृक्ष की हत्या की खबर मिली तो सभी परिजन और गांववासी शोक में डूब गए। संत के भाई ने दोषियों को कड़ी सजा दिए जाने की मांग की।

पालघर में रहने वाले भाई ने किया अंतिम संस्कार
संत कल्पवृक्ष गिरी यहां ज्ञानपुर कोतवाली क्षेत्र के वेदपुर गांव निवासी चिंतामणि तिवारी के पुत्र थे। सन्त को परिवार के द्वारा कृष्णचंद्र तिवारी नाम दिया गया था। वे 10 वर्ष की आयु में अचानक गायब हो गए। बाद में सन्त-महात्माओं के साथ जूना अखाड़ा में जाकर सन्त हो गए। लॉकडाउन के चलते भदोही में रहने वाले उनके परिजन महाराष्ट्र नहीं जा पाए। पालघर में रहने वाले उनके भाई दिनेशचंद्र ने पोस्टमाॅर्टम के बाद शव को नाशिक के त्र्यंबकेश्वर नाथ में समाधि दिलाई।

16 अप्रैल की घटना
16 अप्रैल को महाराष्ट्र के पालघर के गड़चिनचले गांव में दो साधुओं समेत तीन की पीट-पीटकर हत्‍या कर दी गई थी। यह पूरी घटना वहां मौजूद कुछ पुलिसकर्मियों के सामने हुई। आरोपियों ने साधुओं के साथ पुलिसकर्मियों पर भी हमला किया। इसके बाद साधुओं को अस्पताल ले जाया गया जहां उन्हें मृत घोषित कर दिया गया। वैन चालक दोनों साधुओं को लेकर कांदिवली से सूरत जा रहा था।