पिछले 120 साल से लगातार जल रहा है ये बिजली का बल्ब, जो अभी तक नहीं हुआ फ्यूज
वीडियो डेस्क। आजकल मार्केट में कई तरह के बल्ब मौजूद हैं। LED की भरमार है। हम आपको ऐसे बल्ब की कहानी बताने जा रहे हैं वो 2-5 नहीं पूरे 121 सालों जलता जा रहा है। कैलिफोर्निया के लिवरमोर शहर के दमकल केंद्र में लगे इस अजूबे बल्ब को सेंटेनियल नाम से जाना जाता है। इस बल्ब को शेल्बी इलेक्ट्रॉनिक कंपनी ने बनाया था और इसे साल 1901 में पहली बार जलाया गया था। तब से लेकर आज तक यह बल्ब जल ही रहा है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, साल 1937 में बिजली का तार बदलने के लिए इस बल्ब को पहली बार बंद किया गया था और तार बदलने के बाद उसे फिर से जला दिया गया था। आपको बता दें कि इस बल्ब का नाम गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में भी दर्ज है। इस बल्ब की निगरानी सीसीटीवी कैमरे से की जाती है।चार वॉट बिजली से जलने वाला ये सेंटेनियल बल्ब 24 घंटे जलता रहता है। साल 2001 में इस बल्ब का 100वां जन्मदिन काफी धूमधाम से मनाया गया था। इस अनोखे बल्ब को देखने के लिए दूर-दूर से लोग आते हैं। दमकल केंद्र में कभी-कभी इतनी भीड़ हो जाती है कि लगता है कि वो कोई म्यूजियम हो। हालांकि, साल 2013 में यह बल्ब अपने आप बंद हो गया था, तब लोगों को लगा था कि शायद बल्ब फ्यूज हो गया, लेकिन जब जांच की गई तो तार में खराबी निकली। इसके बाद तार को फिर से बदल दिया गया और बल्ब फिर जलने लगा।
वीडियो डेस्क। आजकल मार्केट में कई तरह के बल्ब मौजूद हैं। LED की भरमार है। हम आपको ऐसे बल्ब की कहानी बताने जा रहे हैं वो 2-5 नहीं पूरे 121 सालों जलता जा रहा है। कैलिफोर्निया के लिवरमोर शहर के दमकल केंद्र में लगे इस अजूबे बल्ब को सेंटेनियल नाम से जाना जाता है। इस बल्ब को शेल्बी इलेक्ट्रॉनिक कंपनी ने बनाया था और इसे साल 1901 में पहली बार जलाया गया था। तब से लेकर आज तक यह बल्ब जल ही रहा है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, साल 1937 में बिजली का तार बदलने के लिए इस बल्ब को पहली बार बंद किया गया था और तार बदलने के बाद उसे फिर से जला दिया गया था। आपको बता दें कि इस बल्ब का नाम गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड में भी दर्ज है। इस बल्ब की निगरानी सीसीटीवी कैमरे से की जाती है।चार वॉट बिजली से जलने वाला ये सेंटेनियल बल्ब 24 घंटे जलता रहता है। साल 2001 में इस बल्ब का 100वां जन्मदिन काफी धूमधाम से मनाया गया था। इस अनोखे बल्ब को देखने के लिए दूर-दूर से लोग आते हैं। दमकल केंद्र में कभी-कभी इतनी भीड़ हो जाती है कि लगता है कि वो कोई म्यूजियम हो। हालांकि, साल 2013 में यह बल्ब अपने आप बंद हो गया था, तब लोगों को लगा था कि शायद बल्ब फ्यूज हो गया, लेकिन जब जांच की गई तो तार में खराबी निकली। इसके बाद तार को फिर से बदल दिया गया और बल्ब फिर जलने लगा।