India@75: आजादी के संघर्ष में जानें क्या था तमिलनाडु के पॉलीगरों का विद्रोह

आाजदी की लड़ाई में कई ऐसे संघर्ष हुए जो इतिहास के पन्नों पर दर्ज हो गए जिसमें से एक था पॉलीगार विद्रोह। जिसने ईस्ट इंडिया कंपनी को घुटनों पर ला दिया। तमिलनाडु के पॉलिगारों ने अंग्रेजों की नींव हिला दी थी। 

Rakhi Singhal | Updated : Jul 24 2022, 01:18 PM
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वीडियो डेस्क। 18वीं शताब्दी के दौरान, अंग्रेजी ईस्ट इंडिया कंपनी के लिए सबसे बड़ी चुनौती था दक्षिणी तमिलनाडु के पॉलीगारों का विद्रोह। विजयनगर साम्राज्य के समय में पॉलीगार या पलायकर क्षेत्रीय सैन्य और राजस्व अधिकारी थे। साम्राज्य के पतन और अंग्रेजी ईस्ट इंडिया कंपनी के आगमन ने क्षेत्र के सत्ता समीकरणों को बदल दिया। कंपनी ने पॉलीगारों से कर एकत्र करना शुरू कर दिया। पॉलीगारों ने जोरदार विरोध किया।  कई दशकों तक पूरे क्षेत्र में कई वीर पॉलीगारों  ने कर का कड़ा प्रतिरोध किया। यहां तक ​​कि कंपनी को घुटनों पर भी ला दिया। जानें क्या था पॉलीगर विद्रोह। इस संघर्ष में कौन कौन शामिल था। इनमें पुली थेवर, कट्टाबोम्मन, ओमीथुराई, मारुथ पांड्यार शामिल थे। 
 

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